खालसा पंथ के स्थापना दिवस पर गुरुद्वारे में सादगीपूर्ण हुई अरदास, वैशाखी का रंग रहा फीका
मीरजापुर के रतनगंज स्थित गुरुद्वारे में सिख धर्म के दसवें गुरु गुरु गोविंद सिंह द्वारा खालसा पंथ का स्थापना दिवस सोमवार को हर्षोल्लासपूर्वक मनाया गया।
मीरजापुर, जेएनएन। रतनगंज स्थित गुरुद्वारे में सिख धर्म के दसवें गुरु गुरु गोविंद सिंह द्वारा खालसा पंथ का स्थापना दिवस सोमवार को हर्षोल्लासपूर्वक मनाया गया। लॉकडाउन में शारीरिक दूरी का पालन करते हुए गुरद्वारे के ग्रंथी कुलवंत सिंह संग अवनीत सिंह सरना, इंदरप्रीत सिंह सरना, अमरदीप सिंह , जसप्रीत सिंह मोंगा द्वारा अरदास किया गया। कोरोना वायरस के चलते पहली बार गुरुद्वारे में सादगी व शांतिपूर्वक खालसा पंथ का स्थापना मनाया गया। विश्व में फैली कोरोना जैसी महामारी को लेकर इस बार वैशाखी का रंग फीका रहा। वैशाखी पर्व की खुशी में पथरहिया स्थित बस्ती में जाकर प्रसाद का वितरण किया गया।
खालसा पंथ की स्थापना सन 1699 में सिख धर्म के दसवें गुरु गुरु गोविंद सिंह के द्वारा पंजाब के आनंदपुर साहिब में की गई थी। गुरु गोविंद सिंह ने खालसा पंथ की स्थापना सभी धर्म व मानवता की रक्षा के लिए की। साथ ही आज ही से सिक्ख समुदाय का विशाख माह अर्थात वैशाखी भी शुरू होता है जिसे कहते है। तब से लगातार हर वर्ष धूमधाम से वैशाखी का पर्व पूरे विश्व में धूमधाम से मनाया जाता है। खालसा पंथ के सृजन दिवस व वैशाखी पर्व के अवसर पर आज मीरजापुर के गुरुद्वारा श्री गुरु सिंह सभा रतनगंज परिसर में यूथ खालसा के कार्यकर्ताओं के द्वारा लॉक डाउन के मद्देनजर संक्षिप्त कार्यक्रम का आयोजन हुआ। इस दौरान अरदास कर सिख समाज के लोगों को पर्व की बधाई दी गई। साथ ही सभी को घर में ही वैशाखी पर्व मनाने की अपील की गई। इस दौरान भोग लगे प्रसाद का वितरण यूथ खालसा के कार्यकर्ताओं के द्वारा सिख समाज के लोगों को घर-घर जाकर किया गया।