वाराणसी के वस्त्र उद्योग से प्रभावित नीति आयोग ने कहा - 'ठाठों में ठाठ बनारसिया'
Niti Ayog ने भले ही वाराणसी के सेवापुरी ब्लाॅक को गोद लिया हो लेकिन पूरे बनारस के कारोबारी गतिविधियाें से नीति आयोग भी प्रभावित है। इस दिवाली पीएम के लाेकल फॉर वोकल अभियान से प्रेरित होकर एक पोस्टर सोशल मीडिया में जारी किया है।
वाराणसी, जेएनएन I नीति आयोग ने भले ही वाराणसी के सेवापुरी ब्लाॅक को गोद लिया हो लेकिन, पूरे बनारस के कारोबारी गतिविधियाें से नीति आयोग भी प्रभावित है। इस दिवाली पीएम के 'लाेकल फॉर वोकल' अभियान से प्रेरित होकर एक पोस्टर सोशल मीडिया में जारी किया है।
#Local4Diwali - ठाठों में ठाठ बनारसिया I 🙌
The city of Varanasi in #UttarPradesh continues to be the centre of silk brocade and Banarasi saree production in India, with the textile industry providing great employment opportunities. #VocalForLocal @narendramodi @smritiirani pic.twitter.com/wCnfL06Byi— NITI Aayog (@NITIAayog) November 12, 2020
पोस्ट में लिखा है कि - 'वाराणसी शहर भारत में सिल्क ब्रोकेड और बनारसी साड़ी उत्पादन का केंद्र बना हुआ है, जिसमें कपड़ा उद्योग रोजगार के बड़े अवसर प्रदान करता है।' पोस्ट को पीएम नरेंद्र मोदी और कपड़ा मंत्री स्मृति ईरानी को भी साझा किया गया है। वहीं इस पोस्ट को स्मृति ईरानी ने भी अपनी वाल पर साझा किया है। पोस्ट के साथ वाराणसी में हथकरघा उद्योग की एक तस्वीर भी साझा की गई है।
वहीं नीति आयोग की इस पोस्ट काे लोग साझा कर सोशल मीडिया पर दीवाली के बाद भी बनारस के हथकरघा उद्योग और इसकी गुणवत्ता पर खूब चर्चा कर रहे हैं। वहीं वस्त्र कारोबार से जुड़े लोगों के बीच नीति आयोग का यह पाेस्ट खूब चर्चा बटोर रहा है। पोस्टर में महिला द्वारा हथकरघा के ताने बाने पर साड़ी बुनाई की तस्वीर भी बनारस की परंपरागत छवि को निखारती नजर आ रही है। सोशल मीडिया से लेकर शहर में लोगों के बीच त्योहार के मौके पर यह पोस्टट चर्चा में बना रहा।