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महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ में शोध गंगा से रोकेंगे साहित्यिक चोरी, शोधार्थियों को अब घर बैठे अध्ययन की सुविधा

साहित्यिक चोरी रोकने के लिए यूजीसी ने विश्वविद्यालय को शोध गंगा पोर्टल पर थीसिस अपलोड करने का निर्देश दिया है। इस क्रम में थीसिस को स्कैन कर पोर्टल पर अपलोड करने का कार्य महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ ने शुरू कर दिया गया है।

By Saurabh ChakravartyEdited By: Published: Thu, 01 Oct 2020 09:25 PM (IST)Updated: Thu, 01 Oct 2020 09:25 PM (IST)
महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ में शोध गंगा से रोकेंगे साहित्यिक चोरी, शोधार्थियों को अब घर बैठे अध्ययन की सुविधा
साहित्यिक चोरी रोकने के लिए यूजीसी ने विश्वविद्यालय को शोध गंगा पोर्टल पर थीसिस अपलोड करने का निर्देश दिया है।

वाराणसी, जेएनएन। साहित्यिक चोरी रोकने के लिए यूजीसी ने विश्वविद्यालय को शोध गंगा पोर्टल पर थीसिस अपलोड करने का निर्देश दिया है। इसके बावजूद पोर्टल पर थीसिस अपलोड करने का कार्य धीमी गति से चल रहा है। इस क्रम में थीसिस को स्कैन कर पोर्टल पर अपलोड करने का कार्य महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ ने शुरू कर दिया गया है। प्रथम चरण में 6500 शोध प्रबंध को शोध गंगा पर अपलोड करने की योजना है। अब तक 1816 शोध प्रबंध अपलोड किए जा चुके हैं। अब शोधार्थी घर बैठे आनलाइन शोध प्रबंध का अध्ययन कर सकते हैं। यूजीसी के निर्देश पर शोधार्थियों से साफ्ट कापी में भी थीसिस जमा कराई जा रही।

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नकल रोकने को लाया गया पोर्टल

शोध प्रबंधों को आनलाइन करने के लिए इन्फलिबनेट केंद्र (अहमदाबाद) की कंपनी ने शोध गंगा पोर्टल बनाया, ताकि विवि इस पोर्टल पर शोध प्रबंध अपलोड कर सके। इसके पीछे शोध-प्रबंध में बढ़ती हुई नकल की प्रवृत्ति पर लगाम लगाना उद्देश्य है।

पुराने शोध होंगे आनलाइन

विद्यापीठ प्रशासन ने परिसर स्थित डा. भगवान दास केंद्रीय पुस्तकालय में पुराने शोध प्रबंधों को भी आनलाइन करने की पहल तेज कर दी है। इसके लिए स्कैनर मशीन सहित अन्य उपकरण क्रय किए जा चुके हैं। शोध प्रबंधों को स्कैन करने के लिए दो कर्मचारी लगाए गए हैं।

अब शोधार्थियों से साफ्ट कापी में भी शोध प्रबंध जमा कराए जा रहे हैं

अब शोधार्थियों से साफ्ट कापी में भी शोध प्रबंध जमा कराए जा रहे हैं, ताकि मूल्यांकन के बाद उसे सीधे आनलाइन किया जा सके। वहीं पुराने शोध प्रबंध को आनलाइन करने की प्रक्रिया जारी है।

- डा. एसएल मौर्य, कुलसचिव, महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ

क्या कहता है यूजीसी का नियम

विश्वविद्यालय अनुदान आयोग विनियम 2016 के अनुसार एमफिल-पीएचडी की उपाधि देने की घोषणा से पूर्व शोध की एक ई-प्रति इन्फलिबनेट केंद्र के पास जमा करनी होगी, ताकि सब विश्वविद्यालयों तक इसकी पहुंच बनाई जा सके।

तीनों विश्वविद्यालयों द्वारा शोध गंगा पर अपलोड थीसिस की संख्या

8674 वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय (जौनपुर)

2270 काशी हिंदू विश्वविद्यालय

1816 महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ


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