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वाराणसी में सांसद आदर्श ग्राम नागेपुर में किशोरियों को दी गई माहवारी चक्र की जानकारी

वाराणसी जिले में शुक्रवार को आशा ट्रस्ट और लोक समिति के संयुक्त तत्वावधान में किशोरियों को माहवारी पोषण स्वास्थ्य और स्वच्छता के प्रति जागरूक करने के लिए शुक्रवार को प्रधानमंत्री आदर्श ग्राम नागेपुर में कार्यशाला का आयोजन किया गया।

By Abhishek sharmaEdited By: Published: Fri, 22 Jan 2021 03:23 PM (IST)Updated: Fri, 22 Jan 2021 03:23 PM (IST)
वाराणसी में सांसद आदर्श ग्राम नागेपुर में किशोरियों को दी गई माहवारी चक्र की जानकारी
किशोरियों को जागरूक करने के लिए शुक्रवार को प्रधानमंत्री आदर्श ग्राम नागेपुर में कार्यशाला का आयोजन किया गया।

वाराणसी, जेएनएन। आशा ट्रस्ट और लोक समिति के संयुक्त तत्वावधान में किशोरियों को माहवारी, पोषण, स्वास्थ्य और स्वच्छता के प्रति जागरूक करने के लिए शुक्रवार को प्रधानमंत्री आदर्श ग्राम नागेपुर में कार्यशाला का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में नागेपुर, बेनीपुर, हरसोस, बीरभानपुर हरपुर आदि गांंव से आयी करीब 60 किशोरी लड़कियांं शामिल हुईंं।

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कार्यशाला में किशोरी लड़कियों को संतुलित भोजन एवं उनके पोषक तत्वों, माहवारी (मासिक चक्र) में स्वच्छता एवं पोषण व्यवहार, हैंड वाशिंग प्रक्रिया, किशोरावस्था में किशोरी का सही वजन, आदि की जानकारी दी गयी। साथ ही रक्षण शिक्षण पोषण प्यार सेनेट्री पैड का ध्यान रखने, लौह तत्व बढ़ाने, हर साग-सब्जी खाने, माहवारी पर खुलकर बात करने के प्रति सचेत किया गया। लड़कियों को बताया गया कि माहावारी कोई बीमारी नही है। लेकिन किशोरियों को खुशहाल रहने के लिए शरीर में आयरन की कमी को दूर करने की जरूरत है, इसके लिए आयरन की गोली जरूर खानी चाहिए।  इस मौके पर किशोरियों को माहवारी के सन्दर्भ में व्याप्त भ्रांतियों को दूर करने के उद्देश्य से लघु फिल्मों दिखाकर माहवारी विषय पर विस्तृत जानकारी दी।

कार्यशाला में आयी मुख्य प्रशिक्षक महिला चेतना समिति की संयोजिका शर्मिला ने लड़कियों को ग्रुप चर्चा और खेल के माध्यम से समझाया कि किशोरावस्था में कई प्रकार के बदलाव किशोर एवं किशोरियों के शरीर में आतें हैं, जिनके बारे में संकोच और झिझक के कारण वे किसी से पूछ नही पाते। किशोरियों के शरीर में विशेष प्रकार कि प्रक्रिया की शुरुआत होती जिसे माहवारी या मासिक चक्र कहते हैं, जिसका उनके शरीर पर गहरा असर पड़ता है। ऐसे में वे एनीमिया, संक्रमण से जूझती रहती हैं, लेकिन परिवार इन मुद्दों को गंभीरता से नही लेता। लैंगिक विषमता के उनकी पोषण संबंधी जरूरतें भी शरीर कि आवश्यकता अनुसार पूरी नही हो पाती हैं। ऐसे में उनके स्वास्थ्य एवं पोषण कि देखभाल करना परिवार के वयस्कों का कर्तव्य एवं किशोरियों का बुनियादी अधिकार है।

कार्यशाला की शुरुआत लोक समिति के संयोजक नन्दलाल मास्टर और महिला समूह की संयोजिका अनीता पटेल और महिला चेतना समिति की शर्मिला ने दीप जलाकर किया। कार्यक्रम का संचालन सोनी ने किया। इस अवसर पर प्रेमा, चन्द्रकला, मधुबाला, सरोज, आशा, सोनी, अनीता आदि लोग शामिल रहे।


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