गंगा दशहरा पर काशी में पुण्य की डुबकी, शाम को दीपों की जगमग
वाराणसी में गंगा अवतरण दिवस पर दान-पुण्य की कामना से सभी प्रमुख घाटों पर सुबह से ही श्रद्धालुओ का तांता लगा रहा।
जासं, वाराणसी : गंगा अवतरण दिवस पर दान-पुण्य की कामना से सभी प्रमुख गंगा घाटों पर सुबह से ही श्रद्धालुओं का जमावड़ा रहा। हर-हर गंगे के जयघोष से जहां चारों दिशाएं गुंजायमान रहीं वहीं शंखनाद के बीच आरती और पूजन का क्रम घाटों पर दिन भर चलता रहा। दशाश्वमेध सहित सभी घाटों पर लोगों की भीड़ गंगा दशहरा पर्व पर उमड़ी तो वहीं विभिन्न मंदिरों सहित काशी विश्वनाथ दरबार में भी दर्शनार्थियों की लंबी कतार लगी रही। इस बाबत घाट पर सुरक्षा के जहां उचित बंदोबस्त जिला प्रशासन ने कर रखा था वहीं यातायात व्यवस्था को देखते हुए घाट तक वाहनों को जाने से रोकने के लिए भी अतिरिक्त व्यवस्था की गई। दान पुण्य के बीच देर शाम लोगों ने विशेष गंगा आरती में भी प्रतिभाग कर गंगा को नमन कर खुद के लिए पुण्य और लाभ की कामना करते हुए दीप व पुष्प मां गंगा को समर्पित किया। जबकि रोहनिया स्थित शूलटंकेश्वर घाट पर भी स्नानार्थियों व दान पुण्य करने वालों की दिन भर भीड़ लगी रही।
वहीं दूसरी ओर गंगा गोमती के संगम स्थल कैथी स्थित मार्कंडेय महादेव घाट पर गंगा दशहरा को गंगा अवतरण दिवस के रूप में उल्लास के साथ मनाया गया। सुबह गंगा घाटों पर की साफ सफाई और पूजन किया गया। वहीं शाम को भक्तिपूर्ण तरीके ढंग से महाआरती की गयी। श्री मार्कंडेय महादेव धाम के पुजारियों द्वारा गंगा पूजन और आरती के इस आयोजन में क्षेत्रीय जनता ने बड़े उत्साह से भागीदारी की। इस दौरान भजन कीर्तन का भी आयोजन सतत चलता रहा। इस अवसर पर प्रमुख रूप से गंगा आरती संयोजक पंकज गिरी के साथ श्यामू गिरी, दिलीप गोस्वामी, उमा गिरी, अजय, गुंजन, जगदीश गिरी, बबलू गिरी, प्रदीप सिंह आदि सम्मिलित रहे। दक्षिणेश्वर महादेव घाट पर गंगा सेवक गुरु दास नारायण गोस्वामी द्वारा गंगा आरती, पूजन एवं प्रसाद वितरण किया गया।