महाराष्ट्र की सियासी हलचल : कांग्रेस से इस्तीफा देकर कृपाशंकर सिंह ने बढ़ा दी सियासी सरगर्मी Jaunpur news
महाराष्ट्र के पूर्व गृह राज्य मंत्री व मुंबई कांग्रेस अध्यक्ष रह चुके दिग्गज कांग्रेसी नेता रहे कृपाशंकर सिंह ने मंगलवार को पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से त्याग पत्र दे दिया है।
जौनपुर [सतीश सिंह]। महाराष्ट्र के पूर्व गृह राज्य मंत्री व मुंबई कांग्रेस अध्यक्ष रह चुके दिग्गज कांग्रेसी नेता रहे कृपाशंकर सिंह ने मंगलवार को पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से त्याग पत्र दे दिया है। जौनपुर जनपद के महराजगंज क्षेत्र के ग्राम सहोदरपुर के मूल निवासी कृपाशंकर सिंह के इस फैसले से महाराष्ट्र के साथ ही यहां की राजनीति में भी सनसनी फैल गई है। महाराष्ट्र की राजनीति में कांग्रेस के बड़े नेताओं में शुमार श्री सिंह ने भले ही जम्मू -कश्मीर में धारा 370 के मुद्दे पर पार्टी के स्टैंड पर नाखुशी जाते हुए इसे जनापेक्षाओं के विपरीत बताते हुए पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा देने की बात की है लेकिन सियासी हल्के में उसके निहितार्थ ढूंढे जाने लगे हैं।
पिछले लोकसभा चुनाव के दौरान ही उनके पार्टी छोड़कर भगवा खेमे का दामन थाने की अटकलें लगाई जा रही थीं लेकिन उस समय उन्होंने पार्टी नहीं छोड़ी। सूत्र बताते हैं कि महाराष्ट्र में उतर भारतीयों के बीच रसूख रखने वाले श्री सिंह पार्टी में अपेक्षित तवज्जो न मिलने व गुटबाजी के कारण अब वहाँ के विधान सभा चुनाव के पूर्व भाजपा में जा सकते हैं हांलाकि उन्होंने अभी इस मामले में चुप्पी साधी हुई है। मूल रूप से महराजगंज के शहोदर पुर गांव निवासी कृपाशंकर सिंह 1982 में मुंबई पहुंचकर कर्मचारी हितों के लिए संघर्ष कर लोकप्रिय हुए कृपाशंकर ने कांग्रेस का दामन थाम सक्रिय राजनीति शुरू कर दी।
कुशल प्रबंधक और सामाजिक सोच के कारण 1989 में ये मुंबई कांग्रेस के महासचिव बने और अनवरत पार्टी में कद बढ़ता गया। 1996 में विधान परिषद सदस्य होने के साथ ही प्रदेश के महासचिव बने। प्रतिभा पाटिल, अर्जुन सिंह, सुशील शिंदे, विलासराव देशमुख सहित कई नेताओं के करीबी होने के साथ सोनिया गांधी के विश्वास पात्र बन चुके कृपाशंकर 2001 में विधायक होने के साथ ही महाराष्ट्र के गृह राज्यमंत्री बने। तीन साल बाद इन्हे मुंबई कांग्रेस अध्यक्ष का दायित्व दिया गया। 2006 में ये दोबारा विधायक बने।