चंदौली के नौगढ़ में वन विभाग ने चंद्रकांता गेस्ट हाउस की जमीन को कब्जे से कराया मुक्त
फतांसी कथाओं के लेखक देवकीनंदन खत्री की कल्पनाओं की कथा चंद्रकांता के किरदार वाराणसी के आसपास के ही स्थानों पर रचा गया था। नौगढ़ और विजयगढ़ आदि किलों और तिलिस्मी कहानियों से गढे चंद्रकांता के किरदार आज भी पर्यटकों को आकर्षित करते हैं।
चंदौली, जेएनएन। फतांसी कथाओं के लेखक देवकीनंदन खत्री की कल्पनाओं की कथा चंद्रकांता के किरदार वाराणसी के आसपास के ही स्थानों पर रचा गया था। नौगढ़ और विजयगढ़ आदि किलों और तिलिस्मी कहानियों से गढे चंद्रकांता के किरदार आज भी पर्यटकों को आकर्षित करते हैं। हालांकि, भूमाफिया की नजरों से भी यह स्थल नहींं बचे हैं और आए दिन किले और किरदार से जुड़े स्थलों पर कब्जे का दौर जारी है।
इसी कड़ी में चंदौली जिले में प्रभागीय वनाधिकारी दिनेश सिंह के निर्देश पर वन विभाग की जमीन पर कब्जा करने वालों के विरुद्ध अभियान चलाया गया। कार्यवाही के दौरान विभाग ने चेतावनी देते हुए कहा कि दोबारा कब्जा करने का प्रयास किया गया तो भारतीय वन अधिनियम के तहत वन अपराध का मामला दर्ज किया जाएगा। वन क्षेत्राधिकारी नौगढ़ रिजवान खान के नेतृत्व में मंगलवार की दोपहर चंद्रकांता गेस्ट हाउस के पास की खाली जमीन को कब्जा करके घेराबंदी किए जाने की जानकारी होने पर मौके पर पहुंची वन विभाग की टीम ने लगाए गए तार बाड़ तथा खंभों को उखाड़ लिया और वाहन पर लादकर रेंज कार्यालय ले आए।
वन विभाग की टीम ने चेतावनी दिया कि दोबारा कब्जा करने का प्रयास किया गया तो थाने में मुकदमा दर्ज कराया जाएगा। कब्जा हटाओ अभियान के दौरान वन विभाग की टीम में वन दरोगा गुरुदेव सिंह यादव, वनरक्षक राजेंद्र प्रसाद वनरक्षक सचिन पांडे और बबुंदर के अलावा विभाग के वाचर भी मौजूद थे।