Coronavirus Varanasi City News Update : मंडलीय अस्पताल में शुरू होगी पोस्ट कोविड ओपीडी
वाराणसी में बीएचयू व मंडलीय अस्पताल लैब से रविवार व सोमवार को प्राप्त 5414 जांच रिपोर्ट में कुल 192 कोरोना पाजिटिव मिले हैं। होम आइसोलेशन के 123 व अस्पताल में भर्ती छह मरीजों की रिपोर्ट निगेटिव आने पर उन्हें स्वस्थ घोषित कर दिया गया।
वाराणसी, जेएनएन। बीएचयू व मंडलीय अस्पताल लैब से रविवार व सोमवार को प्राप्त 5414 जांच रिपोर्ट में कुल 192 कोरोना पाजिटिव मिले हैं। होम आइसोलेशन के 123 व अस्पताल में भर्ती छह मरीजों की रिपोर्ट निगेटिव आने पर उन्हें स्वस्थ घोषित कर दिया गया। वहीं कोरोना संक्रमितों की कुल संख्या बढ़ कर अब 16525 हो गई है। इनमें से 15472 मरीज ठीक होकर अपने घर-परिवार में जा चुके हैं। वर्तमान में सक्रिय कोरोना मरीजों की संख्या घटकर 788 हो गई है। बीएचयू अस्पताल में छित्तूपुर निवासिनी 90 वर्षीय महिला सहित सेवापुरी निवासी 31 वर्षीय, सुदामापुर निवासी 70 वर्षीय व फुलवरिया निवासी 72 वर्षीय पुरुष की इलाज के दौरान मौत हो गई। जिले में कोरोना से अब तक कुल 265 मरीजों की मृत्यु हो चुकी है।
मंडलीय अस्पताल में भी शुरू होगी पोस्ट कोविड ओपीडी
कोरोना को मात देने के बाद स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं झेल रहे मरीजों को जल्द राहत मिलने वाली है। ऐसे मरीजों के लिए बीएचयू अस्पताल के साथ ही मंडलीय अस्पातल में पोस्ट कोविड ओपीडी की शुरुआत अगले सप्ताह से होगी। इसके लिए तैयारियों को अंतिम रूप देने के साथ ही स्वास्थ्य कर्मियों के तैनाती की कवायद की जा रही है। वर्तमान में पोस्ट कोविड (कोरोना निगेटिव हो चुके) मरीजों को बीएचयू अस्पताल स्थित मेडिसिन विभाग की ओपीडी में देखा जा रहा है।
होम आइसोलेशन या अस्पताल में रह कर कोरोना को मात देने वाले विजेताओं को अब स्वास्थ्य संबंधी दूसरी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। ऐसे लोगों में 'लंग फाइब्रोसिस' का खतरा बढ़ गया है। यह लोग चेस्ट इंफेक्शन की समस्या संग डाक्टरों के यहां पहुंच रहे हैं। विशेषज्ञों के मुताबिक होम आइसोलेशन वाले करीब 10 फीसद व अस्पताल में इलाज कराने वाले 30 फीसद मरीजों में यह समस्या देखने को मिल रही है। इसे अपने हाल पर छोड़ देने पर ठीक होने में लंबा वक्त लग सकता है, जिससे स्वास्थ्य को काफी नुकसान पहुंच जाता है।दरअसल, महामारी के दौर में बुखार आने पर कई बार लोग इसे सामान्य बुखार समझ लेते हैं और जांच कराने में देर कर जाते हैं। इस पूरी अवधि में कोरोना वायरस फेफड़े को काफी नुकसान पहुंचा चुका होता है। ऐसे में कोरोना से ठीक होने के बाद भी ऐसे मरीजों को 'लंग फाइब्रोसिस' से जूझना पड़ता है। इसका प्रमुख लक्षण पैदल चलने पर सांसों का फूलना है। इसलिए दो से तीन दिन तक बुखार रहने पर कोविड-19 जांच जरूर करा लें। जल्द पुष्टि होने पर इलाज भी तत्काल शुरू हो जाता है, जिससे फेफड़े को अधिक नुकसान नहीं पहुंच पाता है।
शताब्दी सुपर स्पेशियलिटी ब्लाक में होगी ओपीडी
बीएचयू अस्पताल के एमएस प्रो. एसके माथुर के मुताबिक शताब्दी सुपर स्पेशियलिटी ब्लाक यानी कोविड लेवल-थ्री अस्पताल में अगले सप्ताह से पोस्ट कोविड ओपीडी की शुरुआत की जाएगी। नई ओपीडी भू-तल पर ही चलाया जाएगा। वर्तमान में कोरोना से ठीक होने वाले मरीजों को स्वास्थ्य संबंधी परेशानी आने पर उन्हें मेडिसिन विभाग की ओपीडी में बुलाया जा रहा है और परेशानियों का निदान किया जा रहा है।
बोले सीएमओ
कोरोना से ठीक होने वाले मरीजों में फिलहाल स्वास्थ्य संबंधी कोई गंभीर परेशानी अभी तक देखी नहीं गई है। कोरोना विजेताओं के स्वास्थ्य को देखते हुए बीएचयू के साथ ही मंडलीय अस्पताल में पोस्ट कोविड ओपीडी की कवायद की जा रही है, जिसकी शुरुआत अगले सप्ताह से होगी। - डा. वीबी सिंह, सीएमओ।