कंपनी चयन प्रक्रिया पर टाटा ने उठाए सवाल
स्मार्ट सिटी के सिटी सेंटर प्रोजेक्ट के लिए दिसंबर में पूरी हुई कंपनी चयन प्रक्रिया पर औद्योगिक समूह टाटा ने सवाल खड़े कर दिए हैं।
By Sanjay PokhriyalEdited By: Published: Tue, 23 Jan 2018 04:13 PM (IST)Updated: Wed, 24 Jan 2018 02:50 PM (IST)
जासं, वाराणसी : स्मार्ट सिटी के सिटी सेंटर प्रोजेक्ट के लिए दिसंबर में पूरी हुई कंपनी चयन प्रक्रिया पर औद्योगिक समूह टाटा ने सवाल खड़े कर दिए हैं। शापूरजी-पालोनजी कंपनी को परियोजना की जिम्मेदारी देने पर टाटा कंपनी प्रबंधन ने आपत्ति दर्ज कराई है। नगर निगम से पूछा है कि जब निविदा चयन के दौरान वह तकनीकी मूल्यांकन में पहले स्थान पर थी तो काम दूसरी कंपनी को कैसे आवंटित कर दिया गया। टाटा के गंभीर सवालों ने निगम प्रशासन के माथे पर चिंता की लकीरें गहरी कर दी हैं।1दिसंबर के अंतिम सप्ताह में स्मार्ट सिटी बोर्ड की बैठक में सिटी िंग सेंटर प्रोजेक्ट के लिए शापूरजी-पालोनजी कंपनी के नाम पर मुहर लगी थी। प्रोजेक्ट के लिए पहले चार कंपनियां आई थी। दो कंपनी तकनीकी मूल्यांकन में ‘आउट’ हो गई। वैश्विक मूल्यांकन के वक्त टाटा और शापूरजी-पालोनजी में प्रतिस्पर्धा हुई, इसमें शापूरजी-पालोनजी बाजी जीत गई। बोर्ड ने उसे परियोजना की जिम्मेदारी दे दी। अब टाटा ने मामले में आपत्ति दर्ज करा दी है। नगर आयुक्त डा. नितिन बंसल ने बताया कि टाटा की आपत्ति का जवाब बनाकर भेज दिया गया है। तकनीकी व आर्थिक मूल्यांकन में जिसकी दावेदारी सर्वश्रेष्ठ थी उसे परियोजना की जिम्मेदारी दी गई है। जल्द शापूरजी-पालोनजी के साथ प्रोजेक्ट का अनुबंध करने जा रहे हैं। इसके बाद काम समय सीमा में पूरा होगा।1लागत में था 19 करोड़ का फर्क 1बोर्ड बैठक में हुए मूल्यांकन के दौरान दोनों कंपनियों की लागत में करीब 19 करोड़ रुपये का फर्क था। क्वालिटी कम कास्ट बेस्ड फामरूले पर कंपनियों का चयन होना था। टाटा के प्रोजेक्ट की लागत करीब 173 करोड़ थी। जबकि शापूरजी-पालोनजी की 154 करोड़। ऐसे में शापूरजी का नाम फाइनल किया गया।
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