बनारस में 16 साल पहले गरजी थी एके-47
विकास बागी, वाराणसी : नोएडा में पुलिस मुठभेड़ में मारे गए इनामी कुख्यात श्रवण चौधरी के पा
विकास बागी, वाराणसी : नोएडा में पुलिस मुठभेड़ में मारे गए इनामी कुख्यात श्रवण चौधरी के पास से एके-47 बरामद हुई है। आग उगलने वाले रूसी हथियार की बरामदगी से एके-47 एक बार फिर चर्चा में आ गई है। नब्बे के दशक में एके-47 चर्चा में आई जब एक के बाद एक करके कई बाहुबली, राजनेता इसका निशाना बने। पूर्वाचल में कई माफिया गिरोह व बाहुबल के दम पर राजनेता बने कई बाहुबलियों के पास एके-47 मौजूद है।
वाराणसी में 16 साल पहले दिसंबर के महीने में मलदहिया इलाके में आखिरी बार एके-47 का इस्तेमाल हुआ था। भाजपा नेता अनिल सिंह समेत चार लोगों की एके-47 से बर्स्ट फाय¨रग कर हत्या कर दी गई थी। अनिल राय हत्याकांड में माफिया मुन्ना बजरंगी, अनुराग, मोनू का नाम सामने आया था। बनारस में इससे पहले 1997 को एके-47 गरजी थी। 1997 में नरिया तिराहे पर अनिल राय के भाई छात्रनेता सुनील राय व उनके साथियों को एके -47 से भून दिया गया था।
----
बाक्स -1-
य पी में सबसे पहले निशाना बने थे भाटी
प राने रिकार्ड खंगालने पर पता चलता है यूपी में नब्बे के दशक में कुछ माफिया गुटों के पास एके-47 आ गई थी। सबसे पहले बदमाशों ने 13 सितंबर 1992 को गाजियाबाद में जनता दल के कद्दावर नेता व दादरी से तीन बार विधायक रहे महेंद्र सिंह भाटी व उनके साथी उदय प्रकाश की हत्या एके- 47 से की थी।
- पूर्वाचल के बाहुबली भाजपा विधायक कृष्णानंद राय की 29 नवंबर 2005 को गाजीपुर के भांवरकोल थाना क्षेत्र में हुई हत्या में भी एके-47 का इस्तेमाल हुआ था।
-इलाहाबाद के सिविल लाइंस इलाके में 13 अगस्त 1996 को तत्कालीन झूंसी विधायक जवाहर पंडित समेत तीन की एके- 47 से गोलियां बरसाकर हत्या कर दी गई थी।
2005 में इलाहाबाद में ही विधायक राजू पाल की हत्या भी एके- 47 का इस्तेमाल हुआ था। इस हत्याकाड में तत्कालीन सासद अतीक अहमद और उनके भाई अशरफ का नाम आया था।
- दो साल पहले जौनपुर में बर्खास्त सिपाही पंकज समेत दो की हत्या में भी एके-47 चली थी।
-------------
इनसेट--बाक्स-2
म न्ना बजरंगी और श्रीप्रकाश शुक्ला ने लहराई थी एके-47 -
नब्बे के दशक में आतंक का पर्याय बने दुर्दात माफिया डॉन श्रीप्रकाश शुक्ला व मुन्ना बजरंगी ने जरायम की दुनिया में एके-47 से ताबड़तोड़ वारदातें की थी। यूपी में तत्कालीन मुख्यमंत्री कल्याण सिंह की सुपारी लेने वाले बेखौफ माफिया श्रीप्रकाश शुक्ला ने 1997 में लखनऊ के कैंट इलाके में वीरेंद्र शाही की हत्या की थी। साल भर बाद ही उसने बिहार में मंत्री बृज बिहारी प्रसाद को एके- 47 से ताबड़तोड़ फायरिंग कर मौत की नींद सुला दिया था। बजरंगी ने वाराणसी, गाजीपुर समेत पूर्वाचल के कई जिलों में दुश्मनों का सफाया करने के लिए एके-47 का इस्तेमाल किया था।