बाणसागर जलाशय से छोड़ा गया 5048 क्यूसेक पानी, प्रशासन ने जारी की तटवर्ती लोगों को चेतावनी
मध्यप्रदेश के शहडोल स्थित बाणसागर जलाशय से सोमवार रात से बिहार राज्य में सिंचाई हेतु सोन नदी में पांच हजार क्यूसेक से ज्यादा पानी निकासी शुरू कर दी गयी है। जिसको लेकर बाणसागर प्रशासन ने तटवर्ती क्षेत्रों को चेतावनी जारी की है।
सोनभद्र, जेएनएन। मध्यप्रदेश के शहडोल स्थित बाणसागर जलाशय से सोमवार रात से बिहार राज्य में सिंचाई हेतु सोन नदी में पांच हजार क्यूसेक से ज्यादा पानी निकासी शुरू कर दी गयी है। जिसको लेकर बाणसागर प्रशासन ने तटवर्ती क्षेत्रों को चेतावनी जारी की है। बाणसागर पक्का बांध संभाग के कार्यपालन यंत्री द्वारा शहडोल, सतना, सीधी, सिंगरौली सहित उत्तर प्रदेश के सोनभद्र और बिहार के लिए चेतावनी जारी की है।
बताया गया है कि बाणसागर जलाशय स्थित देवलोंद जलविद्युत परियोजना गेट से 5048 क्यूसेक जल सोन नदी में एक फरवरी रात 8 बजे से छोड़ा जाना है। कार्यपालन यंत्री ने सोन नदी के तटवर्ती निवासियों को सावधानी बरतने को कहा है। बाणसागर जलाशय और बिहार सरकार के बीच हुए समझौते के तहत सोन ब्रज इंद्रपुरी, बिहार के लिए बाणसागर जलाशय से दस हजार एकड़ फीट जलश्राव प्रतिदिन उपलब्ध कराया जाना है। अभी अगले कई दिनों तक जलनिकासी जारी रहेगी। इससे पहले बीते जनवरी माह में दो चरणों में कुल 11 दिनों तक बिहार के लिए बाणसागर जलाशय से पानी छोड़ा गया था।
जनवरी माह में सात जनवरी से 13 जनवरी तथा 16 जनवरी से 19 जनवरी के बीच 39660 क्यूसेक पानी छोड़ा गया था। इसके कारण मध्यप्रदेश की सीमा के पास सोन नदी में शिल्पी-कुडारी में बनाए जा रहे पुल के निर्माण में बाधा उत्पन्न हो गयी थी। मध्य प्रदेश के शहडोल स्थित बाणसागर बांध से आ रहे पानी की वजह से पुल निर्माण के लिए नदी में बनाई गयी अस्थायी रोड बह गई थी। दरअसल, बिहार और मध्यप्रदेश सरकार के बीच हुए समझौते के तहत रबी फसलों की सिंचाई के लिए बाणसागर बांध से पानी की निकासी की जा रही है। जानकारी के अनुसार अभी अगले कई दिनों तक बाणसागर से समझौते के तहत बिहार के लिए पानी छोड़ा जाना है।
रिहंद से भी 1.79 क्यूसेक पानी की हुई निकासी
उत्तर प्रदेश और बिहार के बीच हुए समझौते के तहत जनवरी माह में रिहंद जलाशय से बिहार को 1.79 लाख क्यूसेक पानी छोड़ा गया है। रिहंद में जलविद्युत उत्पादन से हो रहे जल निकासी से बिहार के आधा दर्जन से ज्यादा जनपदों में रबी की फसलों की सिंचाई के लिए पर्याप्त पानी पहुंच रहा है। फिलहाल फरवरी माह में भी रिहंद की जलविद्युत इकाइयों से बिजली उत्पादन किया जा रहा है,लिहाज अभी बिहार के इंद्रपुरी बराज तक पानी पहुंचता रहेगा।