आपातकाल परिस्थितियों में अस्पताल आएं मानसिक रोगी
जागरण संवाददाता उन्नाव जिला स्वास्थ्य विभाग ने कोरोना से मानसिक रोगियों के बचाव को लेकर
जागरण संवाददाता, उन्नाव :
जिला स्वास्थ्य विभाग ने कोरोना से मानसिक रोगियों के बचाव को लेकर सरकार के नए निर्देशों पर काम शुरू कर दिया है। इसके तहत मानसिक विकारों से ग्रस्त कमजोर रोगियों व प्रथम पंक्ति के स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं में कोरोना वायरस के जोखिम को कम करने का प्रयास किया जाएगा। सरकार के सुझाव पर मानसिक स्वास्थ्य केंद्र और निकट कोविड अस्पताल के बीच हॉटलाइन संपर्क स्थापित किए जाने पर काम शुरू किया जाएगा। ताकि रोगियों को चिकित्सा सेवाएं समय से मिल सकें।
स्वास्थ्य विभाग ने कोरोना पॉजिटिव होने के साथ ही आघात या अवसाद से भी पीड़ित हैं। या जो इस महामारी के कारण अवसाद से पीड़ित हो गए हैं और जो पहले से ही किसी गंभीर मानसिक स्वास्थ्य समस्याओं से ग्रस्त हैं। उनके लिए एक नोडल अधिकारी नियुक्ति किए जाने की जानकारी दी है। गाइड लाइन में मानसिक स्वास्थ्य सेवाओं को समुदाय में भी उपलब्ध कराने के निर्देश हैं। इसके लिए समुदाय में पहले से मौजूद मानसिक रोगियों एवं कोविड-19 के दौरान आये नए मानसिक मामलों को कम करने के लिए सुरक्षात्मक उपायों का प्रचार प्रसार होगा। साथ ही डिजिटल, प्रिट और सोशल मीडिया प्लेटफार्मों के माध्यम से संबंधित रोगों पर सटीक तथ्यों के प्रचार-प्रसार के लिए आइईसी सामग्री उपयोग में लाई जाएगी। दवाइयों की सतत उपलब्धता सुनिश्चित कराने के लिए मानसिक स्वास्थ्य के क्षेत्र में कार्य कर रहे गैर सरकारी संगठनों की भी मदद ली जाएगी। कोरोना से बचने के लिए केवल आपातकालीन हालातों में ही मानसिक स्वास्थ्य केंद्र में आने की बात राज्य नोडल अफसर सुनील पांडेय ने कही। स्थानीय स्तर पर मानसिक रोगों से संबंधित दवाइयों की खरीद में स्थानीय, राज्य व राष्ट्रीय हेल्पलाइन नंबर पर संपर्क किया जा सकता है। बुजुर्ग या ऐसे मानसिक रोगी जो ओपीडी तक जाने में असमर्थ हैं उनके लिए गृह भ्रमण जैसी सेवायें शुरू की जाएंगी।