शिक्षक भर्ती फर्जीवाड़े में हुए एफआईआर के आदेश
जागरण संवाददाता, उन्नाव : फर्जी अंक पत्र के दम पर परिषदीय स्कूलों में नौकरी कर रहे बीएलड
जागरण संवाददाता, उन्नाव : फर्जी अंक पत्र के दम पर परिषदीय स्कूलों में नौकरी कर रहे बीएलड उत्तीर्ण शिक्षक परीक्षा नियामक प्राधिकारी के निशाने पर हैं। काउंसि¨लग में जमा कराए गए मूल दस्तावेजों को तलब करते हुए पकड़ में आए 10 अभ्यर्थियों पर एफआइआर के आदेश हुए हैं। यह वह अभ्यर्थी हैं, जिन्होंने 12460 की भर्ती में खुद को 'काबिल' दिखा जिले में जगह पक्का की थी। बीएसए को एक सप्ताह का अल्टीमेटम दिया गया है।
गौरतलब है कि 12460 सहायक अध्यापक भर्ती में कुल 410 बीएलएड उत्तीर्ण अभ्यर्थियों की काउंसि¨लग जिला बेसिक शिक्षा मुख्यालय में हुई थी। इसमें करीब 18 अभ्यर्थी गैर जनपद के थे। इनकी काउंसि¨लग पूरी कराते हुए नियुक्ति पत्र को कोर्ट के आदेशानुसार रोका गया था। इन अभ्यर्थियों ने कट ऑफ मेरिट में जगह बना रखी थी। विभाग ने इनकी सीटों को सुरक्षित कर लिया था। बीएलएड अभ्यर्थियों द्वारा जो दस्तावेज लगाए गए थे, उनका विरोध जिले के बीटीसी 2013 प्रशिक्षुओं ने किया था। बीटीसी प्रशिक्षु शिक्षक संघ की मांग पर बीएसए ने जांच शुरू कराई। इसमें 10 अभ्यर्थियों के दस्तावेज फर्जी मिले। लेकिन, आगे की जांच पटल पर दबा दी गई। फर्जीवाड़ा दबाने के लिए हर संभव प्रयास हुए लेकिन परीक्षा नियामक प्राधिकारी रजिस्ट्रार की जांच ने ऐसा होने नहीं दिया। सूत्रों का कहना है कि दो दिन पूर्व बीएसए को रजिस्ट्रार द्वारा निर्देश जारी हुए हैं। इसमें 10 अभ्यर्थियों के टीईटी प्रमाण पत्र 2013 को फर्जी ठहराया गया। फर्जीवाड़े के लिस्ट में शामिल अभ्यर्थी
बीएसए बीके शर्मा ने बताया कि अभ्यर्थियों में अक्षय लाल यादव, अवधेश कुमार यादव, चंदन कुमार यादव, कन्हैया, नीतू गुप्ता, सुशीला यादव, नरेंद्र पाल यदुवंशी, रवि कुमार, रमेश चंद, धर्मेंद्र कुमार भारती हैं। इनके सत्यापन संबंधित शिक्षण संस्थान के परीक्षा नियंत्रक के साथ परीक्षा नियामक प्राधिकारी में कराए गए। जहां से उन्हें फर्जी ठहरा दिया गया है। सभी पर एफआइआर दर्ज होगी।