बढ़ी ठंड, घटी स्वेटर वितरण की गति
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सुलतानपुर: ठंड जितनी तेजी से बढ़ रही है, बेसिक विद्यालयों के बच्चों को स्वेटर वितरण की रफ्तार उतनी ही धीमी है। शासन की तरफ से हर हाल में नवंबर माह में ही स्वेटर वितरित किए जाने के सख्त निर्देश के बाद भी अभी मात्र 16 फीसद ही आपूर्ति ही की जा सकी है। बीएसए के कहने पर भी आपूर्ति करने वाली फर्म स्वेटर की खेप जिले में नहीं भेज रही है। इसके पीछे स्वेटर का कम रेट होना बताया जा रहा है। बीएसए अब जिलाधिकारी से मध्यस्थता करने की बात कह रहे हैं।
जेम (गवर्नमेंट ई-मार्केटिग) पोर्टल के माध्यम से टेंडर जारी कर यूपिका हैंडलूम को परिषदीय विद्यालयों में पढ़ने वाले दो लाख 32 हजार 720 बच्चों के लिए स्वेटर आपूर्ति का जिम्मा सौंपा गया। स्वेटरों को चार साइज में मंगाया गया है। कक्षा एक व दो के लिए स्माल साइज, कक्षा तीन व चार के लिए मीडियम, पांच व छह के लिए लार्ज साइज तो वहीं कक्षा सात एवं आठ के लिए एक्सएल व डीएक्सएल साइज रखा गया है।
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कम रेट बनी मुख्य वजह
यूपी के अधिकांश जिलों में भी यूपिका ही आपूर्ति कर रही है। अन्य जिलों में कंपनी को प्रति स्वेटर 195 रुपये तक मिल रहे हैं। वहीं जिले में एक स्वेटर के लिए 164 रुपया ही दिया जा रहा है। ऐसे में कंपनी उन क्षेत्रों में आपूर्ति पर ज्यादा ध्यान दे रही है, जहां पैसा ज्यादा मिल रहा है। यही कारण है कि अभी तक जिले में तीन ट्रकों में तकरीबन 50 हजार स्वेटर ही पहुंच सका है। अभी भी 12 ट्रक माल आने बाकी हैं।
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बार-बार कहने के बाद भी फर्म का अड़ियल रवैया बदल नहीं रहा है। जिलाधिकारी से मध्यस्थता का निवेदन किया जाएगा। बच्चों को निर्धारित अवधि में स्वेटर उपलब्ध कराया जाएगा।
संतोष कुमार सक्सेना, बेसिक शिक्षा अधिकारी