..तो अभी नहीं रुकेगी कोयला व डीजल की चोरी
एनसीएल की खदानों में कोयले और डीजल की चोरी को रोकने के लिए काफी समय से सीआइएसएफ की तैनाती की मांग हो रही है। इस बाबत सीआइएसएफ जवानों की तैनाती और रहने के प्रबंध तक की तैयारी कर ली गई थी
जासं, अनपरा : एनसीएल की खदानों में कोयले और डीजल की चोरी को रोकने के लिए काफी समय से सीआइएसएफ की तैनाती की मांग हो रही है। इस बाबत सीआइएसएफ जवानों की तैनाती और रहने के प्रबंध तक की तैयारी कर ली गई थी लेकिन फिर पूरा मामला ठंडे बस्ते में चला गया। जानकार बताते हैं कि सीआइएसएफ के डीआइजी स्तर के अधिकारी को ऊर्जांचल में बैठना था।
एनसीएल के अधिकारियों द्वारा कई बार गृह मंत्रालय को खदानों की सुरक्षा के लिए सीआइएसएफ के जवानों की तैनाती की मांग की जा चुकी है। एनसीएल के एक रिटायर हो चुके अधिकारी ने इस संबंध में काफी प्रयास किए इस पर सीआइएसएफ की तैनाती का पूरा रोडमैप तैयार हो चुका था। कमांडेंट के रहने और जवानों के रहने के लिए आवासीय स्थानों का भी चयन किया जा चुका था। यहां तक कि खड़िया में डीआइजी स्तर के अधिकारी के आवास का स्थान भी चयनित हो चुका था लेकिन उसी समय एनसीएल के यह अधिकारी रिटायर हो गए। इससे पूरा मामला ठंडे बस्ते में चला गया। अब सारी औपचारिकताएं दोबारा की जा रहीं हैं। तीन बार डेडलाइन क्रास हो चुकी है और सीआइएसएफ की तैनाती नहीं हो पा रही है। सीआइएसएफ की तैनाती न होने का फायदा कोयला, डीजल और कबाड़ चोर उठा रहे हैं।
एनसीएल अपनी खदानों में किसी भी प्रकार की चोरी रोकने के लिए हर संभव प्रयास कर रहा है। गृह मंत्रालय से सीआइएसएफ की तैनाती के बारे में वार्ता अंतिम दौर में है और जल्द ही एनसीएल की सभी खदानों की सुरक्षा का जिम्मा केंद्रीय बल को सौंप दिया जाएगा। इस संदर्भ में एनसीएल की ओर से लगभग सभी तैयारियां पूरी कर ली गईं हैं।
- सीरज ¨सह, सीपीआरओ, एनसीएल।