गिरोह को मजबूत करने के लिए फोर्स को बनाने लगे निशाना
छत्तीसगढ़ के बीजापुर में नक्सलियों द्वारा 22 जवानों की हत्या के बाद जिले में सतर्कता बढ़ा दी गई है। छत्तीसगढ़ झारखंड व बिहार से लगने वाली जनपद की सीमा पर हर दिन कांबिग कर तलाशी अभियान चलाया जा रहा है।
अब्दुल्लाह, सोनभद्र :
छत्तीसगढ़ के बीजापुर में नक्सलियों द्वारा 22 जवानों की हत्या के बाद जिले में सतर्कता बढ़ा दी गई है। छत्तीसगढ़, झारखंड व बिहार से लगने वाली जनपद की सीमा पर हर दिन कांबिग कर तलाशी अभियान चलाया जा रहा है। वर्ष 1997 से हत्या, लूट की कई घटनाओं को अंजाम देने वाले नक्सली गिरोह खुद को मजबूत करने के लिए फोर्स को निशाना बनाते रहे हैं। एके 47 व एके 56 जैसे अत्याधुनिक हथियारों के सामने नक्सलियों के हथियार कारगर साबित न होने पर नक्सलियों ने घातक हमले और पुलिस के हथियार लूटने शुरू कर दिए थे। पीएसी कैंप पर हमलाकर लूट लिए थे हथियार
पूर्व में जनपद पूरी तरह नक्सलियों से जकड़ा रहा। आज फोर्स के बदौलत भले ही जनपदवासी बेफिक्र जीवन व्यतीत कर रहे हैं लेकिन पूर्व में जनपद ही नहीं मीरजापुर व चंदौली में छत्तीसगढ़ जैसे ही हालत नक्सलियों ने बना दिए थे। मीरजापर के अहरौरा थाना अंतर्गत खोराडीह में 22 नवंबर 2001 को पीएसी कैंप पर हमलाकर नक्सलियों ने 14 एसएलआर, 27 मैगजीन, 1350 कारतूस, एक स्टेनगन, पांच मैगजीन लूट लिए थे। इस घटना को अंजाम देने के बाद नक्सलियों की ताकत कई गुना बढ़ गई थी। इस घटना को अंजाम देने के बाद नक्सलियों ने 19 नवंबर 2004 को चंदौली जनपद के नौगढ़ के मझगांई स्थित वन चौकी को ब्लास्ट कर उड़ा दिया गया था। इसमें दो पुलिसकर्मी और एक वनकर्मी की मौत हुई थी। इस घटना को अंजाम देने के दूसरे दिन ही नक्सलियों ने 20 नवंबर 2004 को चंदौली के ही हिनौता में लैंड माइन विस्फोट कर 36वीं वाहिनी पीएसी का वाहन (ट्रक) उड़ा दिया था। वारदात में 16 पुलिसकर्मी मारे गए थे। यहां से भी नक्सलियों ने भारी मात्रा में हथियार लूट लिए थे। इस घटना में 14 पीएसी के जवान, एक उपनिरीक्षक व एक नागरिक पुलिस आरक्षी थे। असलहे का जखीरा मिलने पर ताबड़तोड़ घटनाओं को दिया अंजाम
चंदौली के हिनउत में पीएसी के ट्रक को उड़ाने के बाद नक्सली काफी मजबूत हो गए। इसके बाद कई घटनाओं को अंजाम देकर दहशत फैलाने का काम किया। नौ अक्टूबर 2009 को एरिया कमांडर लालब्रत ने जोनल कमांडर मुन्ना विश्वकर्मा के साथ मिलकर मांची थाना क्षेत्र के रामपुर गांव के शिवप्रकाश उर्फ डब्लू कुशवाहा का सिर कलम कर दिया था। नक्सलियों को लगता था कि शिवप्रकाश पुलिस का मुखबिर है। करमा थाना क्षेत्र के करकी गांव में पुलिस मुठभेड़ के दौरान थानाध्यक्ष नौगढ़ की गोली मारकर हत्या, मीरजापुर के अहरौरा में बिहारी यादव, नौगढ़ में हेमनाथ चौबे, नौगढ़ में फारेस्ट गार्ड मुसाफिर चौबे और गोरख यादव की हत्या, करमा में शशिकांत ठाकुर की हत्या, नौगढ़ के लौवारी में तीन लोगों की हत्या, नौगढ़ के तिवारीपुर में तीन की हत्या की घटना को अंजाम देकर विध्य क्षेत्र में तूफान ला दिया था। कोन स्थित गढ़ाव में राजेंद्र सिंह व राजमारायण का घर विस्फोट कर उड़ा दिया गया। दो-दो हाथ करने के लिए भेजी गई सीआरपीएफ
चंदौली के हिनउत कांड के बाद प्रदेश सरकार ने नागरिक पुलिस के सौ जवानों को सेना के जवानों की तरह प्रशिक्षण देकर नक्सल को खात्मा करने की कोशिश की लेकिन कामयाबी न मिली। इसके बाद केंद्र सरकार ने वर्ष 2010 में सोनभद्र, मीरजापुर व चंदौली में सीआरपीएफ की तैनाती कर दी। सीआरपीएफ के जवानों ने नक्सलियों के गढ़ में घुसकर जब वार करना शुरू किया तो उनके हौसला टूटने लगे। वर्जन--
छत्तीसगढ़ के बीजापुर की घटना के बाद जिले में अलर्ट जारी है। सीमावर्ती थानों व चौकियों को अलर्ट कर दिया गया है। छत्तीसगढ़ ही नहीं बिहार व झारखंड सीमावर्ती इलाकों में हर दिन कांबिग कर तलाशी अभियान चलाया जा रहा है।
- अमरेंद्र प्रसाद सिंह, पुलिस अधीक्षक।