कबाड़ व डीजल चोरों के लिए बना मुफिद
कबाड़ व डीजल चोरों के लिए बना मुफिद कबाड़ व डीजल चोरों के लिए बना मुफिद कबाड़ व डीजल चोरों के लिए बना मुफिद
जासं, शक्तिनगर (सोनभद्र) : एनसीएल खड़िया परियोजना में इस समय कबाड़ व डीजल चोर पूरी तरह से निरंकुश हो गए हैं। यह स्थिति परियोजना की सुरक्षा संविदा कर्मचारियों के हाथ में आई तब बढ़ गई है। सुरक्षा व्यवस्था में कोल, कबाड़ व डीजल माफियाओं की अप्रत्यक्ष रूप से घुसपैठ हो जाने से आए दिन चोरी का सिलसिला बढ़ता जा रहा है। इनके सेंधबाजी से खदान क्षेत्र की सुरक्षा व्यवस्था पर क्षेत्रीय लोगों द्वारा प्रश्न चिह्न खड़ा किया जा रहा है। एनसीएल खड़िया परियोजना की सुरक्षा व्यवस्था तीन भागों में बांटी गई है। तीनों भागों की सुरक्षा संविदा के माध्यम से सुरक्षा गार्ड लगाए गये हैं। कागज पर तो सुरक्षा गार्डों का संविदाकार सेना के रिटायर कर्नल के नाम से है लेकिन, स्थानीय स्तर पर यह काम पेटीदार के रूप में अलग-अलग लोगों को दे दिया गया है। विवादित लोगों को दे दी सुरक्षा की जिम्मेदारी
एनसीएल खड़िया में सुरक्षा में तैनात अधिकांश संविदा कर्मी पूर्व में किसी न किसी विवाद में संलिप्त रहे हैं। अब-जब उन्हे ही करोड़ों रुपये के सामानों की सुरक्षा की जिम्मेदारी मिली है तो वह बहुत ही आसानी से हर रोज रुपये के सामान पर हाथ साफ कर रहे हैं। पेटीदार के रूप में सुरक्षा व्यवस्था संभाल रहे यह कर्मचारी कोल, कबाड़ व डीजल माफिया को सुरक्षित रास्ता मुहैया कराते हैं। जिसका नतीजा यह निकल रहा है कि आए दिन खदान क्षेत्र से बड़े पैमाने पर कबाड़, डीजल, कोयला की चोरी हो रही है। सुरक्षा व्यवस्था में तैनात सुरक्षा गार्ड अपने आकाओं की बात मानने के लिए विवश रहते हैं, जिसका पूरा फायदा चोरों को मिलता है। खदान में कभी-कभी एनसीएल के केंद्रीय मुख्यालय के सुरक्षा अधिकारी रात में खदानों की गश्त पर निकलते हैं तो खदान में चोर अपने सामानों को छोड़कर भाग जाते हैं। विगत दिवस इसी प्रकार से केंद्रीय सुरक्षा टीम ने खड़िया परियोजना के खदान क्षेत्र में छापेमारी की तो डीजल चोर दस गैलन डीजल छोड़कर फरार हो गए, जिसे मुख्यालय की टीम अपने साथ ले गई। सुरक्षा नाममात्र का
आए दिन कबाड़ चोर खदानों से बेधड़क डीजल, कबाड़ व कोयला चोरी कर ले रहे हैं, जबकि सुरक्षा गार्डों की संख्या नाम मात्र है। इससे जहां परियोजना को आए दिन लाखों की चपत लग रहा हैं वहीं माफिया चोर मालमाल हो रहे हैं। आखिरकार परियोजना प्रबंधन क्यों नही ध्यान दे रहा है, जबकि यहां पर अनपरा थाना, रेणुसागर चौकी, बीना चौकी, शक्तिनगर थाना है और परियोजना की सिक्योरिटी भी है। इससे साफ जाहिर होता है कि प्रबंधन लचर है या फिर जानबुझ कर इस मुद्दे पर ध्यान नही दे रहा है। ------------------
- यह मामला काफी गंभीर है। इसकी पूरी जांच कराई जाएगी। अगर आरोप सही पाए गए तो निश्चित रूप से जिम्मेदारों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी। समय-समय पर सुरक्षा व्यवस्था की जांच होती रहती है।
- अमरनाथ पांडेय, महाप्रबंधक एनसीएल खड़िया।