ग्रामीणों ने श्रमदान से सुधारी सड़क
जब गांव के विकास में जनप्रतिनिधियों का कोई योगदान नहीं मिलता है तो उस गांव में विकास के हालात क्या होंगे। सड़क की समस्या से त्रस्त ग्रामीणों ने स्वयं सड़क दुरूस्त करने को ठानी और करके जिम्मेदारों को आईना दिखा दिया।
सिद्धार्थनगर : जब गांव के विकास में जनप्रतिनिधियों का कोई योगदान नहीं मिलता है तो उस गांव में विकास के हालात क्या होंगे। सड़क की समस्या से त्रस्त ग्रामीणों ने स्वयं सड़क दुरूस्त करने को ठानी और करके जिम्मेदारों को आईना दिखा दिया।
समस्या जिले के बढ़नी चाफा के टोला बड़हरा की है। जहां की समस्या पर किसी भी जिम्मेदार ने नजर डालना उचित नही समझा। बड़हरा का एक मार्ग बलरामपुर जिले के उतरौला मार्ग से जुड़ता है। इस मार्ग से सैकड़ों बच्चे रोजाना स्कूल आते जाते हैं। मार्ग पर बड़े बड़े गड्ढे थे जो बारिश के बाद आने जाने में परेशानी खड़ा करते थे। इसी मार्ग से होकर दुर्गा प्रतिमाओं के विसर्जन को भी लोग जाते थे। बारिश में मार्ग अवरुद्ध हो जाने पर टोला निवासी बनगवा नानकार, भड़रिया होते हुए करीब बीस किमी की दूरी तय करने को मजबूर थे। युवा समाज सेवी रामपाल वर्मा व गोलू वर्मा की अगुवाई में ग्रामीणों से वार्तालाप कर उत्साहित किया तो गांव के लोगों ने अपने संसाधनों एवं खुद श्रमदान कर कच्चे मार्ग पर मिट्टी पाट कर एक किमी सड़क को गड्ढा मुक्त कर दिया। मार्ग की पटाई हो जाने से अब केवल सात किमी का सफर ही तय करना होगा। श्रमदान करने वालों में मायाराम वर्मा, द्वारका प्रसाद, पप्पू वर्मा, रितेश, संदीप, प्रदीप, रामसागर यादव, राजेश चौधरी, पहलवान, रक्षाराम,रघुराज हजारी, बाबूलाल आदि शामिल रहे।