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बहराइच सांसद व उनके प्रतिनिधि के खिलाफ ग्रामीणों का धरना-प्रदर्शन

बहराइच : शनिवार को बहराइच सांसद व उनके प्रतिनिधि के खिलाफ मिहीपुरवा ब्लॉक के मझाव गा

By JagranEdited By: Published: Sat, 28 Jul 2018 11:37 PM (IST)Updated: Sat, 28 Jul 2018 11:37 PM (IST)
बहराइच सांसद व उनके प्रतिनिधि के खिलाफ ग्रामीणों का धरना-प्रदर्शन
बहराइच सांसद व उनके प्रतिनिधि के खिलाफ ग्रामीणों का धरना-प्रदर्शन

बहराइच : शनिवार को बहराइच सांसद व उनके प्रतिनिधि के खिलाफ मिहीपुरवा ब्लॉक के मझाव गांव के ग्रामीणों ने कलेक्ट्रेट परिसर में धरना-प्रदर्शन किया। सांसद व उनके प्रतिनिधि पर प्रशासनिक अमले के साथ विवादित भूमि पर कब्जा दिलाने का आरोप है। कार्रवाई की मांग को लेकर ग्रामीणों ने डीएम को ज्ञापन भी सौंपा है। सांसद सावित्री बाई फुले ने कहा है कि वह इलाके में दौरे पर गई थी। इस प्रकरण से उनका कोई सरोकार नहीं है।

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मोतीपुर थाने के मझाव गांव में शुक्रवार की शाम लगभग पांच बजे मझाव गांव निवासी जानकी प्रसाद पुत्र रामसेवक की विवादित भूमि पर तहसीलदार केशव प्रसाद ने राजस्व व पुलिस अफसरों की मौजूदगी में खेत में खड़ी फसल जोतवा कर दूसरे पक्ष को कब्जा करा दिया। जानकी प्रसाद ने बताया कि यह भूमि बालमुकुंद पुत्र जमुना से वर्ष 1978 में उनके पिता रामसेवक पुत्र राजाराम व दूधनाथ पुत्र बल्ली ने संयुक्त रूप से खरीदी थी। भूमि के बंटवारे को लेकर उसी समय मामला कोर्ट में चला गय था। वर्ष 2016 में दोनों पक्षों ने आपस में सुलह कर भूमि की अमलदरामद करा ली। इसी बीच सांसद के प्रतिनिधि अक्षयवरनाथ कनौजिया पुत्र जगेश्वर ने बालमुकुंद के पौत्र से इस भूमि का बैनामा कराकर पुन: उसकी अमलदरामद करा ली। मामला अदालत में लंबित है। इसी बीच सांसद व उनके प्रतिनिधि ने जमीन पर लगी फसल को जोतवाकर कब्जा कर लिया। तहसीलदार ने बताया कि यह मामला हमारी जानकारी में था, लेकिन वह मौके पर नहीं गए थे। कब्जा गलत तरीके से किया गया है। इसकी रिपोर्ट डीएम को भेजी जा रही है। मोतीपुर एसओ हेमंत कुमार गौड़ ने बताया कि तहसीलदार के निर्देश पर पुलिस टीम के साथ वह उनके साथ गए थे। उपजिलाधिकारी मिहींपुरवा कीर्तिप्रकाश भारती ने बताया कि प्रकरण की पूरी जांच कराकर दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। सांसद सावित्री बाई फुले ने बताया कि वह इलाके में भ्रमण पर गई थी। इसी दौरान राजस्व टीम भूमि पर से अतिक्रमण हटाने के लिए पहुंची थी। इस प्रकरण से उनका कोई लेना-देना नहीं है। यहां मौके पर जानकी प्रसाद के अलावा प्रेमनरायन राजभर, सोनू, रामआसरे, सीता राजभर, माता प्रसाद राजभर, तारा देवी समेत बड़ी संख्या में ग्रामीण मौजूद रहे।


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