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मोहसिना के लिए देवदूत बन पहुंचे सीओ-थानाध्यक्ष

अस्पताल में मौत से जंग लड़ रही मोहसिना के लिए सीओ कैराना और गढ़ीपुख्ता थानाध्यक्ष देवदूत बनकर पहुंचे। दोनों ने रक्तदान किया। इनके बाद तीन अन्य लोग भी पहुंचे। अब मोसिना की हालत में कुछ सुधार है।

By JagranEdited By: Published: Sun, 10 May 2020 10:56 PM (IST)Updated: Sun, 10 May 2020 10:56 PM (IST)
मोहसिना के लिए देवदूत बन पहुंचे सीओ-थानाध्यक्ष
मोहसिना के लिए देवदूत बन पहुंचे सीओ-थानाध्यक्ष

शामली जेएनएन। अस्पताल में मौत से जंग लड़ रही मोहसिना के लिए सीओ कैराना और गढ़ीपुख्ता थानाध्यक्ष देवदूत बनकर पहुंचे। दोनों ने रक्तदान किया। इनके बाद तीन अन्य लोग भी पहुंचे। अब मोसिना की हालत में कुछ सुधार है।

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गढ़ीपुख्ता क्षेत्र के राझड़ गांव निवासी मोहसिना (उम्र 27 वर्ष) पत्नी फरीद गर्भवती थी। शनिवार को तबियत बिगड़ने पर परिजन शामली के ग्लोबल शांतिकेयर अस्पताल लेकर पहुंचे। जांच में पता चला कि हीमोग्लोबिन मात्र 4.2 ग्राम है और बच्चे की गर्भ में ही मृत्यु हो चुकी है। डिलीवरी के लिए हीमोग्लोबिन नौ ग्राम तक होना जरूरी होता है। ऐसे में चार यूनिट रक्त चढ़ाया गया और इसके बाद नॉर्मल तरीके से ही डिलीवरी हुई। इसके बाद भी मोहसिना और परिवार की दुश्वारियां कम नहीं हुई। प्लेटलेट्स नीचे गिरते हुए 21 हजार हो गई और हालत बिगड़ रही थी। एबी पॉजिटिव रक्त से प्लेटलेट्स की जरूरत थी। परिजन काफी प्रयास करते रहे, लेकिन प्रबंध नहीं हो सका। अस्पताल संचालक कुशांक चौहान ने रक्त की जरूरत के मैसेज सोशल मीडिया चलाए। रविवार दोपहर में सूचना सीओ कैराना प्रदीप सिंह और गढ़ीपुख्ता थानाध्यक्ष संदीप बालियान को मिली। वह सूचना मिलते ही अस्पताल पहुंच गए। महिला के पति फरीद के साथ मेरठ रोड स्थित सर्वाेदय ब्लड़ बैंक पहुंचे और यहां पर एक-एक यूनिट रक्तदान किया। सूचना पर पूर्व सभासद कांधला पिटू गोयल, बीएड कॉलेज जसाला के प्राचार्य श्रवण कुमार और व्यापारी श्याम सिघल भी अस्पताल आए और इसके बाद ब्लड बैंक आकर उन्होंने भी रक्त दिया। पांच यूनिट रक्त से प्लेटलेट्स मोहसिना को चढ़ाई गई। पति फरीद की आंखें नम थी और बार-बार सभी रक्तदाताओं को धन्यवाद कर रहे थे। कह रहे थे कि आज पता है कि खून का महत्व क्या होता है। अगर प्लेटलेट्स न मिलता तो एक और अनहोनी हो सकती थी। बच्चे को तो वह खो ही चुके हैं। अस्पताल संचालक कुशांक चौहान ने बताया कि महिला की हालत में अब सुधार हो रहा है।


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