शहर में पसरा जाम का 'झाम'
जागरण संवाददाता, शामली : शामली अपर दोबाब शुगर मिल की धीमी गति से चल रही पेराई ने सोमवार
जागरण संवाददाता, शामली : शामली अपर दोबाब शुगर मिल की धीमी गति से चल रही पेराई ने सोमवार को सुबह से शाम तक शहर को जाम नगरी बना दिया। जिसके चलते शहर से गुजरने वाले लोग बेहद परेशान रहे। शहर के चारों ओर के सभी मुख्य मार्ग पर वाहनों की लंबी कतारे लगी रही। मालगाड़ी की तरह गन्ने से भरे वाहनों की सड़कों पर लंबी लाइन लगी रही। जिसके चलते छोटे से लेकर बड़े वाहन चालकों के साथ ही पैदल चलने वाले लोग भी बेहद परेशान नजर आए। रविवार को भी यही हाल रहा था। इधर-उधर से निकलने में भी वाहन चालकों की सुबह से शाम तक छोटी-छोटी झड़प होती रही।
सोमवार को शुगर मिल के धीमा चलने के कारण पूरा शहर सुबह से देर रात तक जाम तब्दील रहा। शहर के हर मार्ग पर गन्ने से भरी भैसा-बुग्गी व ट्रैक्टर ट्राली ही खड़ी नजर आई। मिल धीमा चलने के बाद भी मिल प्रबंधन द्वारा पास के गांव में कोई सूचना नहीं दी गई। जिसके चलते सुबह से शाम तक किसान गन्ने से भरे वाहन लेकर मिल में आते रहे और शहर जाम में तब्दील होता रहा। जबिक रविवार को भी दोपहर बाद यही हाल रहा था। सुबह से आए किसानों और पशुओं को परेशानियों का सामना करना पड़ा। यातायात पुलिस द्वारा भी जाम से निजात दिलाने का काफी प्रयास किया गया, लेकिन गन्ने से भरे वाहनों की संख्या बढ़ती रहने के कारण वह भी विफल हो गए। जिसके चलते शहर की सड़कों के साथ ही बाजारों में भी भयंकर जाम की स्थिति बनी रही। पूरा दिन शहर वाहनों के होर्न से गूंजता रहा और वाहन निकालने के चक्कर में एक दूसरे से झड़प होती रही, लेकिन जाम से निजात नहीं मिल सकी। जिस कारण शहर का मैन रोड, हनुमान रोड, बुढ़ाना रोड, भिक्की मोड, धीमानपुरा फाटक, विजय चौक, कैराना रोड, ¨झझाना रोड, रेलपार बाइपास के साथ ही शहर के बाजार और शॉटकर्ट रास्तों पर भी भीषण जाम रहा। छोटे से बड़े वाहन भी पूरा दिन रेंगते नजर आए।
स्कूली वाहन भी फंसे रहे जाम में
दोपहर के समय हुई स्कूलों की छुट्टी के बाद जाम पूर्ण रुप से जाम में तब्दील हो गया और शाम तक स्कूली बसें और छोटे वाहन जाम में ही फंसे रहे। कई घंटों तक जाम खुलने का इंतजार बच्चें करते रहे। जिसके बाद छोटे बच्चों के परिजन स्कूल की गाडियों को ढूडते नजर आए और अपने अपने बच्चों को पैदल ही घर लेकर गए। वहीं बड़े बच्चें इंतजार कर गाड़ियों से उतरकर पैदल ही घर को चले गए। वहीं साइकिल पर स्कूल जाने वाले छात्र-छात्रा भी ट्रालियों के बीच से साइकिल लिटाकर निकालते नजर आए।
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कई घंटों तक फंसी रही एंबुलेंस
जाम इतना भयानक था कि कई घंटों तक पूरे शहर में दर्जनों एंबुलेंस भी फंसी रही। इसके साथ ही अन्य स्थानों से आने वाली एंबुलेंस भी शायरन बजाती रही, लेकिन जाम से निजात नहीं मिली। एक बाहरी एंबुलेंस शहर के वर्मा मार्किट के पास जाम में फंस गई। मरीज की तबियत खराब होने के चलते परिजन मरीज को एंबुलेंस से उताकर शहर से बाहर ले जाते हुए दूसरी एंबुलेंस करनी पड़ी। वहीं लोकल की एंबुलेंस भी फंसी रही।
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कैदियों की दो गाड़ी भी फंसी रही जाम में
मुजफ्फरनगर से कैराना पेशी पर आई दो कैदियों की गाड़ी भी आते वक्त जाम में फंसी रही। घंटों की मशक्कत के बाद उन्हें जाम से निजात मिल पाई। जिसके बाद ही वह मुजफ्फरनगर के लिए रवाना हुई।
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सवारियों और पैदल चलने वालों को भी हुई परेशानी
भयंकर जाम लगने से ई- रिक्शाओं और बसों में जाने वाले यात्रियों को परेशानी का सामना करना पड़ा। पैसे मांगने पर रिक्शा चालकों के साथ भी यात्रियों की बहस होती रही। यात्रियों को बसों और ई-रिक्शाओं से उतरकर ही पैदल चलना पड़ा। बाजारों में भी जाम रहा। जिस कारण पैदल चलने वाले लोगों का भी निकलना मुश्किल रहा।
--बिल्लू मलिक--