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नगर पालिका में भ्रष्टाचार की अजीब-ओ-गरीब इबारत

भ्रष्टाचार की कला सीखिए नगर पालिका शामली प्रशासन से। पालिका की चेयरपर्सन ने तमाम नियम-कानूनों को धता बताकर चपरासी को लिपिक बना दिया। जिद पर अड़ी चेयरपर्सन प्रशासन की सख्ती के बाद बैकफुट पर आई और लिपिक को दोबारा से चपरासी बनाने का आदेश पारित किया। अभी इस आदेश का पूरी तरह क्रियान्वयन भी नहीं हुआ था कि ईओ ने इसी चपरासी की शान में कसीदे पढ़ते हुए इसे दोबारा लेखाकार का सहायक बनाने की संस्तुति करके चेयरपर्सन को पत्र लिख दिया।

By JagranEdited By: Published: Tue, 26 Oct 2021 07:44 AM (IST)Updated: Tue, 26 Oct 2021 07:44 AM (IST)
नगर पालिका में भ्रष्टाचार की अजीब-ओ-गरीब इबारत
नगर पालिका में भ्रष्टाचार की अजीब-ओ-गरीब इबारत

शामली, जागरण टीम। भ्रष्टाचार की कला सीखिए नगर पालिका शामली प्रशासन से। पालिका की चेयरपर्सन ने तमाम नियम-कानूनों को धता बताकर चपरासी को लिपिक बना दिया। जिद पर अड़ी चेयरपर्सन प्रशासन की सख्ती के बाद बैकफुट पर आई और लिपिक को दोबारा से चपरासी बनाने का आदेश पारित किया। अभी इस आदेश का पूरी तरह क्रियान्वयन भी नहीं हुआ था कि ईओ ने इसी चपरासी की शान में कसीदे पढ़ते हुए इसे दोबारा लेखाकार का सहायक बनाने की संस्तुति करके चेयरपर्सन को पत्र लिख दिया।

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नगर पालिका शामली में चपरासी पद पर तैनात अमित कुमार को पालिका प्रशासन ने लिपिक पद पर प्रोन्नत करने का प्रस्ताव भेजा और चेयरपर्सन अंजना बंसल ने इस गलत काम पर मुहर लगा दी। मामले ने तूल पकड़ा तो दैनिक जागरण ने इस मामले को प्रमुखता से लगाकार प्रकाशित किया। डीएम के निर्देश पर एसडीएम कैराना की जांच रिपोर्ट में चेयरपर्सन अंजना बंसल, पालिका ईओ सुरेंद्र यादव और संबंधित लिपिक प्रदीप कुमार को को दोषी पाया गया। डीएम जसजीत कौर ने तीनों के विरूद्ध् सख्त कार्रवाई की संस्तुति करते हुए कमिश्नर को पत्र भेज दिया। इसके बावजूद नगर पालिका प्रशासन अपनी जिद पर अड़ा रहा। कमिश्नर सहारनपुर डा. लोकेश एम. ने लिपिक अमित कुमार को तत्काल चपरासी पद पर भेजने और पालिका को हुई वित्तीय हानि की अमित कुमार से रिकवरी करने के निर्देश दिए। डीएम ने कमिश्नर के आदेशों का क्रियान्वयन कराने के लिए एसडीएम शामली संदीप कुमार को निर्देशित करते हुए उन्हें कार्यपालक मजिस्ट्रेट नियुक्त किया। एसडीएम ने सख्ती दिखाई तो पालिका की चेयरपर्सन बैकफुट पर आई और ईओ को पत्र लिखकर कमिश्नर के आदेशों का पालन करते हुए अमित कुमार को तत्काल चपरासी पद पर भेजने को कहा। 23 अक्टूबर को जारी इस पत्र पर पूरी तरह अमल भी नहीं हुआ था कि नगर पालिका के ईओ ने फिर से पालिकाध्यक्ष को पत्र लिख दिया कि अमित कुमार के अलावा कोई योग्य लिपिक पालिका में नहीं है। इसलिए अमित कुमार को लेखाकार का सहायक बनाया जाए। लिपिक प्रदीप कुमार पर नहीं हुई कार्रवाई

चपरासी अमित कुमार को पदोन्नत करने के मामले में लिपिक प्रदीप कुमार को दोषी ठहराया गया था। उनके खिलाफ भी कार्रवाई की संस्तुति की गई थी। इसके बावजूद पालिका प्रशासन लिपिक प्रदीप कुमार के खिलाफ कार्रवाई नहीं कर रहा है। वर्जन

अमित को सहायक बनाने के लिए पालिकाध्यक्ष को पत्र लिखा गया है, लेकिन अभी उसे बनाया नहीं गया है। इस संबंध में कोई आदेश अभी जारी नहीं किया गया है।

सुरेंद्र यादव, ईओ पालिका शामली


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