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स्वामी च‍िन्मयानंद-छात्रा प्रकरण : शाहजहांपुर पहुंची एसआइटी, शुरू होगी जांच Shahjahanpur News

एसआइटी में एक आइजी दो एसएसपी एडिशनल एसपी व अन्य अधिकारी शाम‍िल हैं। फ‍िलहाल टीम को कृषको व रिलायंस पावर के गेस्ट हाउस में ठहराया गया है।

By Abhishek PandeyEdited By: Published: Fri, 06 Sep 2019 11:11 AM (IST)Updated: Fri, 06 Sep 2019 09:03 PM (IST)
स्वामी च‍िन्मयानंद-छात्रा प्रकरण : शाहजहांपुर पहुंची एसआइटी, शुरू होगी जांच Shahjahanpur News
स्वामी च‍िन्मयानंद-छात्रा प्रकरण : शाहजहांपुर पहुंची एसआइटी, शुरू होगी जांच Shahjahanpur News

शाहजहांपुर, जेएनएन : स्वामी चिन्मयानंद प्रकरण में लखनऊ से एसआइटी शुक्रवार सुबह पहुंच गई। एसआइटी में एक आइजी, दो एसएसपी, एडिशनल एसपी व अन्य अधिकारी शाम‍िल हैं।

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फ‍िलहाल टीम को कृषको व रिलायंस पावर के गेस्ट हाउस में ठहराया गया है। करीब एक घंटे बाद पुलिस अधिकारियों से मुलाकात के बाद मीटिंग करेगी। प्रकरण से संबंधित अभिलेख भी टीम को दिए जाएंगे। 

क्या है पूरा मामला

मालूम हो कि चिन्मयानंद के संस्थान एसएस लॉ कॉलेज शाहजहांपुर में पढ़ने वाली एलएलएम की छात्रा ने एक वीडियो जारी कर उत्पीड़न के आरोप लगाए थे। इसके बाद छात्रा गायब हो गई और बाद में राजस्थान में मिली। सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर लड़की को शुक्रवार को कोर्ट में पेश किया गया था। कोर्ट के आदेश पर फिलहाल वह दिल्ली में शार्ट स्टे होम में पुलिस सुरक्षा में रह रही है और उसके माता-पिता भी दिल्ली लाए गए हैं।

सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर बनी एसआइटी  
सुप्रीम कोर्ट ने एलएलएम की छात्रा द्वारा पूर्व केंद्रीय मंत्री चिन्मयानंद के संस्थान एसएस लॉ कॉलेज और उसके प्रबंधन पर लगाए गए उत्पीड़न के आरोपों की जांच के लिए उत्तर प्रदेश सरकार को विशेष जांच दल (एसआइटी) गठित करने का आदेश दिये थे। 

न तो मैं रुकूंगा न विश्वविद्यालय की प्रक्रिया
आरोपों से घिरे स्वामी चिन्मयानंद का कहना है कि कोशिश कॉलेज को विश्वविद्यालय का दर्जा दिलाने की प्रक्रिया में रोड़ा लगाने की थी। प्रयास किया गया कि इस तरह की घेराबंदी से उनकी छवि खराब की जाए, लेकिन न तो वह रुके हैं और न ही विश्वविद्यालय की प्रक्रिया रुकेगी। इस तरह के कुत्सित प्रयासों का कोई असर नहीं होने वाला।

12 सितंबर तक दिल्ली में ही रहेगी छात्रा 
कोर्ट ने कहा कि वह सिर्फ लड़की की पढ़ाई के मुद्दे पर ही सुनवाई करेगा। कोर्ट ने कहा कि लड़की अब उस संस्थान में नहीं पढ़ना चाहती है। उसका छोटा भाई भी उसी संस्थान में एलएलबी प्रथम वर्ष की पढ़ाई कर रहा है। ऐसे में कोर्ट ने उत्तर प्रदेश सरकार की ओर से पेश एडीशनल सालिसिटर जनरल विक्रमजीत बनर्जी और एडीशनल एडवोकेट जनरल एश्वर्या भाटी से कहा कि वह बरेली के एमयू विश्वविद्यालय में लड़की और उसके भाई का स्थानांतरण करने के बारे में पता करें और कोर्ट को बताएं। कोर्ट ने कहा है कि लड़की 12 सितंबर तक दिल्ली में ही रहेगी। 

राष्ट्रीय महिला आयोग ने मांगी रिपोर्ट
छात्रा द्वारा लगाए गए आरोपों के मामले में राष्ट्रीय महिला आयोग (एनसीडब्ल्यू) ने संज्ञान लिया था। आयोग ने उत्तर प्रदेश पुलिस को नोटिस जारी कर मामले की जल्द जांच करने के साथ ही विस्तृत रिपोर्ट भेजने का निर्देश दिया थे। साथ ही डीजीपी से लड़की और उसके परिवार की सुरक्षा सुनिश्चित करने को कहा था। 

प्रियंका गांधी ने भी उठाए थे सवाल
स्वामी चिन्मयानंद पर लगे आरोपों के बहाने कांग्रेस महासचिव प्रियंका वाड्रा ने भी उत्तर प्रदेश सरकार पर हमला बोल चुकी हैं। एक ट्वीट में ल‍िखा था, 'उत्तर प्रदेश में एक भी दिन ऐसा नहीं बीतता जिस दिन भाजपा सरकार महिलाओं को ये भरोसा दिलाने में कामयाब हो कि आप सुरक्षित हैं और अगर आपके साथ कोई घटना घटती है तो आपको न्याय मिलेगा।'


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