गोवंशीय व राहगीरों के लिए काल बना धारदार तार
गोवंश के संरक्षण संवर्धन के लिए सरकार हर संभव कदम उठा रही है।
जेएनएन, शाहजहांपुर : गोवंश के संरक्षण, संवर्धन के लिए सरकार हर संभव कदम उठा रही है। गो आश्रय केंद्र बनाने में अब तक करोड़ों खर्च हो चुके है, लेकिन गोवंशीय समेत राहगीरों के लिए काल बने ब्लेड वाले तार पर प्रशासन ने अब तक प्रतिबंध नहीं लगाया। जबकि मार्च में राहगीर युवक की मोटरसाइकिल से तार पर गिरकर गर्दन कटने से मौत हो गई थी। सैकड़ों गोवंशीय तार से कटकर तिल तिल कर मरने को मजबूर है।
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दो तिहाई खेतों में ब्लेड वाले तार
फसलों को मवेशियों से बचाने के लिए किसान ब्लेड वाला तार ही लगा रहे है। जबकि बाजार में कटीला तार भी उपलब्ध है। ब्लेड वाला तार गोवंशीय समेत पशुओं का जिस्म काट रहा है। कुछ दिन जख्म पर संक्रमण के चलते पशु की मौत हो जाती है। दो तिहाई से अधिक खेतों में ब्लेड वाला तार लगाया जा चुका है।
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तार जब्त के साथ लगे जुर्माना
प्रशासन को ब्लेड वाले तार पर रोक लगानी चाहिए। इसके बाद प्रतिष्ठानों पर छापामारी करके ब्लेड वाला तार जब्त करना चाहिए। उन पर जुर्माना लगाना चाहिए। किसानों से भी ब्लेड वाला तार न इस्तेमाल की अपील करनी चाहिए।
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जरा सी चूक पर सुखपाल की चली गई जान
जलालाबाद क्षेत्र के गांव झरहर हरीपुर निवासी मनचले का बेटा सुखपाल 20 वर्ष मार्च में बाइक से कहीं जा रहा था। मोटरसाइकिल स्लिप हो जाने पर वह सड़क किनारे खेत में लगे ब्लेड वाले तार पर गर्दन के बल गिर गया। गला कट जाने से मौके पर ही उसकी मौत हो गई। वर्जन: किसानों से ब्लेड वाला तार हटाने की अपील की जाएगी। ने मानने पर कार्रवाई की जाएगी। किसान फसल बचाने के लिए कटीला तार लगा सकते हैं।
अमृत त्रिपाठी, जिलाधिकारी