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Road Safety With Jagran: सड़क पर गड्ढों की भरमार, अवैध कट ले रहे जान

Road Safety With Jagran गोरखपुर-लखनऊ राष्ट्रीय राजमार्ग पर दुर्घटना बाहुल्य जगहों पर भी सुरक्षा मानकों का पूर्णतया अभाव है। दर्जनों स्थानों पर लोगों ने अवैध कट बना लिए हैं जिसके चलते आए दिन घटनाएं होती हैं। राज्य मार्गों की स्थिति खराब है।

By Jagran NewsEdited By: Pradeep SrivastavaPublished: Fri, 18 Nov 2022 05:05 PM (IST)Updated: Fri, 18 Nov 2022 05:05 PM (IST)
Road Safety With Jagran: सड़क पर गड्ढों की भरमार, अवैध कट ले रहे जान
Road Safety With Jagran: हाईवे पर रांड ड्राइविंग से आए दिन दुर्घटनाएं हो रही हैं। - जागरण

संतकबीर नगर, राज नारायण मिश्र। जनपद में सड़कों की स्थिति ठीक नहीं है। राष्ट्रीय राजमार्ग, राज्य मार्ग के साथ ही संपर्क मार्ग जगह-जगह क्षतिग्रस्त हो चुके हैं। टूटी सड़कें जहां वाहनों के साथ ही लोगों की सेहत बिगाड़ रही हैं वहीं गलत ढंग से बनी सड़कें लोगों की जान पर भारी पड़ रही हैं। ब्लैक स्पाट, अवैध कट और डिजाइन की गड़बड़ी के चलते हर दिन दुर्घटनाएं हो रही हैं। सड़कों पर जरूरी संकेतों का अभाव भी लोगों की जिंदगी पर भारी पड़ रहा है। सड़कों की सेहत का खयाल रखने वाला महकमा सिर्फ कागज में ही लोगों को सफर का फीलगुड करा रहा है।

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जागरण टीम ने तीन सौ किमी सड़कों का लिया जायजा

पिछले दिनों जागरण टीम ने लोक निर्माण विभाग के सेवानिवृत सहायक अभियंता राम समुझ मिश्र के साथ जनपद की सड़कों की तीन सौ किमी से अधिक दूरी नापी थी। राष्ट्रीय राजमार्ग के सड़कों की स्थिति तो ठीक थी, लेकिन इन पर सुरक्षा मानकों का पालन नहीं हुआ है। तमाम जगहों पर संकेतक नहीं लगे हैं। जहां ब्रेकर होने चाहिए वहां नहीं हैं। सड़क पर अंध मोड़ के चलते भी आए दिन दुर्घटनाएं हो रही हैं। गोरखपुर-लखनऊ राष्ट्रीय राजमार्ग पर दुर्घटना बाहुल्य जगहों पर भी सुरक्षा मानकों का पूर्णतया अभाव है। दर्जनों स्थानों पर लोगों ने अवैध कट बना लिए हैं, जिसके चलते आए दिन घटनाएं होती हैं। राज्य मार्गों की स्थिति खराब है। वर्षों पूर्व बनी इन सड़कों की मरम्मत तक नहीं हो पाई है, जिसके चलते बड़-बड़े गड्ढे बन गए हैं। इन सड़कों पर दो पहिया और चार पहिया वाहन चलाना खतरों से खेलने जैसा है। जनपद के अधिकतर संपर्क मार्ग टूटकर बिखर चुके हैं। तमाम जगहों पर लोग सड़कों की मांग को लेकर प्रदर्शन तक कर रहे हैं।

जनपद में दुर्घटना बाहुल्य स्थलों की स्थिति

गोरखपुर-लखनऊ राष्ट्रीय राजमार्ग पर जनपद की सीमा पर स्थित मगहर दुर्गा मंदिर के पास ट्रैफिक व्यवस्था बेहद खराब है। यहां न तो डिवाइडर बना है और न ही ट्रैफिक लाइट है। इसी प्रकार सोनी होटल के सामने डीघा बाईपास से ओवरब्रिज आरंभ होता है। साथ ही बगल से खलीलाबाद शहर के लिए वाहन गुजरते हैं। यहां गोल चौराहा नहीं बनने से दुर्घटना की आशंका बनी रहती है। नेदुला चौराहा से शहर के अंदर जाने का प्रमुख मार्ग है। यहां वाहनों को नियंत्रित करने के लिए कोई प्रबंध नहीं है। ओवरब्रिज से नीचे उतरने के बाद वाहन तेज रफ्तार से आगे बढ़ते हैं। यहां ऊपरी ब्रिज की आवश्यकता है। सरैया बाईपास से वाहनों को शहर में मुड़ने के लिए कोई संकेतक नहीं लगाया गया है। सीधे जाने और आने वाले वाहन यहां से मुड़ने के दौरान अक्सर दुर्घटनाग्रस्त होते हैं। इस स्थान पर गोल तिराहा की सख्त जरूरत है।

यह मिलीं खामियां

राष्ट्रीय राजमार्ग पर स्थित कांटे चौराहा स्थल दुर्घटना बाहुल्य माना जाता है। यहां से होकर मुंंडेरवा आदि की तरफ वाहन जााते हैं। बचाव के लिए यहां कोई व्यवस्था नहीं है। इस स्थान पर गोल चौराहा बनाने की सख्त आवश्यकता है। नाथनगर तिराहा पर अनियमित रूप से वाहनों के मुड़ने से दुर्घटनाएं होती रहती हैं। न तो यहां रिफ्लेक्टर है और न ही ब्रेकर ही लगा है। खलीलाबाद से महुली से होकर बस्ती की तरफ जाने वाले वाहन यहीं से गुजरते हैं। खलीलाबाद-धनघटा मार्ग पर स्थित मैंसिर चौराहे पर ट्रैफिक नियंत्रण का कोई इंतजाम नहीं है। मनमाने रूप से वाहनों के मुड़ने से जाम और दुर्घटना की स्थिति सामने आती है। खलीलाबाद-मेंहदावल मुख्य मार्ग पर स्थित बघौली बाजार भी दुर्घटना के लिहाज से संवेनशील स्थल है। यहां भी सुरक्षा के कोई इंतजाम नहीं हैं।

नहीं दिखे रिफ्लेक्टर

खलीलाबाद-मेंहदावल मार्ग पर स्थित लेडुआ-महुआ तिराहे से होकर नंदौर और मेंहदावल के लिए वाहन गुजरते हैं। यहां दुर्घटनाएं होने के बाद भी रिफ्लेक्टर आदि नहीं लगाया जा सका है। यहां सड़क भी गड़बड़ बनी है। नंदौर-बांसी मार्ग पर स्थित झुड़िया पुलिया दुर्घटनाओं के लिए सबसे संवेदनशील स्थल बन गया है। यहां अंधा मोड़ होने से वाहन नाले में गिरकर दुर्घटनाग्रस्त हो रहे हैं। वर्ष भीतर छह की मौत और दर्जनभर से अधिक लोग यहां घायल हो चुके हैं। इस बीच यहां बचाव के इंतजाम किए गए हैं। कैट आई के साथ ही स्पीड ब्रेकर बनाया गया है। इस स्थान पर रिफ्लेक्टर लगाए जाने की सख्त आवश्यकता है। यहां भी सड़क गलत बनी है। बीएमसीटी मार्ग पर बाराखाल तिराहे पर दुर्घटनाओं से बचाव के इंतजाम नदारद हैं। अक्सर ही बाईपास से होकर वाहन मुड़ने के दौरान दिशाहीन होकर सड़क के सामने बनी खड्ड में पलटते रहते हैं। यहां रिफ्लेक्टर के साथ ही मोड़ को और चौड़ा करने की आवश्यकता है।

जिले में सड़क हादसों की स्थिति

वर्ष : कुल हादसे : मृत्यु : घायल

2020: 53: 36: 29

2021: 62: 27: 32

2022 : 47: 27: 19

सड़कों की संख्या

राष्ट्रीय राजमार्ग : 5

राज्यमार्ग : 39

संपर्क मार्ग : 1598

ब्लैक स्पाट : 18।


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