निर्भया कांड में इंसाफ से भयमुक्त बनेगा समाज
देश को झकझोर देने वाले निर्भया कांड के आरोपितों को अंतत फांसी के फंदे तक पहुंचने का समय आ गया। कोर्ट के निर्णय पर लोग झूम उठे। इस बारे में जागरण द्वारा समाज के लोगों की प्रतिक्रिया जानने का प्रयास किया गया। सभी ने देर से आया दुरुस्त फैसला बाते हुए इसे भयमुक्त समाज बनाने की कड़ी बताया।
संतकबीर नगर: देश को झकझोर देने वाले निर्भया कांड के आरोपितों को अंतत: फांसी के फंदे तक पहुंचने का समय आ गया। कोर्ट के निर्णय पर लोग झूम उठे। इस बारे में जागरण द्वारा समाज के लोगों की प्रतिक्रिया जानने का प्रयास किया गया। सभी ने देर से आया दुरुस्त फैसला बाते हुए इसे भयमुक्त समाज बनाने की कड़ी बताया।
खलीलाबाद निवासी वंदना गुप्ता और रीतू जैन ने कहा कि अपराधियों को कठोर दंड मिलने से राहत मिली है। एक किशोरी के साथ दरिदगी करने वालों को इसी प्रकार की सजा की दरकार थी। इससे बेटियों की तरफ बुरी निगाह डालने वालों में भी भय पैदा होगा।
मंजू गुप्ता और कृष्णमोहिनी मिश्रा ने कहा कि निर्भया कांड को लेकर समाज में एक भय का माहौल था। व्यभिचारियों और क्रूरता की हदें पार करने वालों को फांसी दिए जाने का निर्णय सराहनीय है। सभी ने कहा कि 22 जनवरी को आरोपितों को फांसी हो जाने के बाद देश की धरती से बोझ हट सकेगा। खलीलाबाद के रजत गुप्ता और डा.आनंद सिंह ने कहा कि निर्भया को मिले न्याय से अपराधियों में डर समाएगा। लोग बहन-बेटियों के बारे में कुछ कहने और करने से पहले डरेंगे।
बखिरा निवासी मुकेश जयसवाल ने कहा कि समाज में इस प्रकार के अपराध करने वालों को जिदा रहने का हक नहीं है। लकी सिंह ने कहा कि न्यायालय द्वारा पूरी प्रक्रिया का पालन करके निर्णय सुनाया गया। इसमें भले ही देरी हुई परंतु न्याय की जीत हुई। पूनम पाठक ने कहा निर्भया कांड के दोषियों को फांसी पर लटकाने का फैसला एकदम उचित है। बखिरा की पुष्पा देवी ने कहा कि फैसले से हर कोई खुश है।