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परचून की दुकानों पर होम डिलीवरी की व्यवस्था नहीं

कोरोना के चलते लॉकडाउन के दौरान लोगों को घरों से निकलने की कड़ी मनाही है। जिला प्रशासन द्वारा प्रत्येक वार्ड में परचून व मेडिकल की फुटकर निर्धारित की है जिनसे मोबाइल कॉल पर लोग अपेक्षित सामान की आपूर्ति घर पर ले सकते हैं।

By JagranEdited By: Published: Tue, 31 Mar 2020 09:31 PM (IST)Updated: Wed, 01 Apr 2020 06:02 AM (IST)
परचून की दुकानों पर होम डिलीवरी की व्यवस्था नहीं
परचून की दुकानों पर होम डिलीवरी की व्यवस्था नहीं

सहारनपुर, जेएनएन। कोरोना के चलते लॉकडाउन के दौरान लोगों को घरों से निकलने की कड़ी मनाही है। जिला प्रशासन द्वारा प्रत्येक वार्ड में परचून व मेडिकल की फुटकर निर्धारित की है, जिनसे मोबाइल कॉल पर लोग अपेक्षित सामान की आपूर्ति घर पर ले सकते हैं। प्रशासन के दावे की हकीकत जानने के लिए जब दैनिक जागरण ने फुटकर दुकानदारों को कॉल कर सामान का आर्डर दिया तो दावों की हकीकत खुलकर सामने आ गई। पता चला कि कोई तो दिये गये मोबाइल नंबरों को गलत बताने लगा, तो किसी ने दुकान बंद होने का हवाला दिया, जिसने सामान की उपलब्धता बताई भी, उसने घर पर सप्लाई करने से इंकार कर दिया। कुल मिलाकर सरकार की बनाई गई व्यवस्था को दुकानदार फेल करने पर उतारू हैं। ऐसे में आम आदमी क्या करेगा, सोचा जा सकता है।

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केस-1

पंत विहार निवासी हरीश अधिकारी द्वारा कोर्ट रोड स्थित पूजा मेडिकल स्टोर पर फोन कॉल कर दवा का आर्डर किया गया, दुकानदार ने सबसे पहले जवाब दिया कि उनके यहां होम डिलीवरी की सुविधा नहीं है, अगर लेने आ सकते हैं तो दवा उपलब्ध है।

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केस-2

कोर्ट रोड स्थित अतुल मेडिकल स्टोर को उनके निर्धारित मोबाइल पर जब ग्राहक बनकर पेरासीटामॉल के एक पत्ते का आर्डर दिया गया तो उधर से होम डिलीवरी की सुनते ही तत्काल जवाब मिला कि उनके यहां पैरासीटामोल उपलब्ध ही नहीं है। केस-3

तोता चौक के सब्जी विक्रेता अक्षय सैनी के मोबाइल नंबर पर जब ग्राहक बनकर आर्डर देना शुरू किया तो होम डिलीवरी का नाम सुनते ही उधर से असमर्थता जता दी गई।

केस-4

जैन कालेज रोड स्थित हैप्पी मेडिकल स्टोर को उनके मोबाइल नंबर पर जब ग्राहक बनकर बुखार की दवा की होम डिलीवरी को कहा, तो उधर से जवाब मिला ऐसी दवा उनके यहां है ही नहीं।

केस-5

आदित्य प्रोविजन स्टोर को जब उनके मोबाइल नंबर पर परचून के सामान का आर्डर दिया गया तो उधर से उनका जवाब था कि होम डिलीवरी नहीं दे पाएंगे।

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ये चल रहा खेल

दरअसल नगर निगम में पार्षदों को दुकानों के प्रस्ताव देने का जिम्मा प्रशासन ने दिया था, पार्षदों के प्रस्ताव पर ही दुकानों को पास आवंटित किये गये, अब जब कि यही दुकानदार रोजाना अपनी दुकान के लिये माल खरीद रहे हैं, लेकिन उसके ऐवज में बिक्री नहीं कर रहे। होम डिलीवरी से हाथ खड़े कर रहे हैं। बताया जा रहा है कि दुकानदार माल खरीदकर उसको जमा करने में लगे हैं, इससे जमाखोरी तथा कालाबाजारी बढ़ रही है। इस पूरी व्यवस्था के पटरी पर नहीं आने से प्रशासन की नजरें पार्षदों पर टेड़ी हो गई हैं। ---------

कालाबाजारी पर दर्ज होगा मुकदमा

डीएम अखिलेश कुमार सिंह ने कहा कि सभी दुकानदारों को माल खरीदने की छूट दी गई है, संकट के इस समय में सभी दुकानदारों को होम डिलीवरी कर प्रशासन तथा राष्ट्र का सहयोग करना चाहिये, अगर कोई दुकानदार होम डिलीवरी नहीं करेगा, और कालाबाजारी या जमाखोरी करता पाया जाएगा तो उसके खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कर कानूनी कार्रवाई की जाएगी।


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