मौका-ए-वारदात पर किया हत्याकांड का नाट्य रूपांतरण
सहारनपुर: साल 2017 के बहुचर्चित पनीर व्यापारी राकेश अरोड़ा हत्याकांड की तफ्तीश को अब ज
सहारनपुर: साल 2017 के बहुचर्चित पनीर व्यापारी राकेश अरोड़ा हत्याकांड की तफ्तीश को अब जनपद शामली के एसओ बाबरी ने आगे बढ़ाना शुरू कर दिया है। रविवार रात सीओ कैराना के साथ पहुंचे एसओ बाबरी ने राकेश की हत्या का नाट्य रूपांतरण कर यह जांचने की कोशिश की कि कार की रोशनी में कोई दूर से हत्यारोपितों को देख कर कैसे पहचान सकता है?
शहर के डीएसओ कंपाउड निवासी राकेश अरोड़ा की 30 जनवरी 2017 को रामपुर मनिहारान में हत्या हुई थी। शव भाजपा नेता चौधरी भूपेंद्र ¨सह के खेत में ट्यबवैल के निकट एसेंट कार के अंदर से बरामद हुआ था। सबसे पहले मौके पर चौ. भूपेंद्र ¨सह के भतीजे प्रदीप चेयरमैन पहुंचे थे। करीब 12 महीने तक चली तफ्तीश के बाद तत्कालीन इंस्पेक्टर क्राइम ब्रांच दीपक चतुर्वेदी ने बसपा नेता एवं बर्फ कारोबारी सालीम, उनके बेटे सभासद जहांगीर व नौकर सादा तथा नौशाद को अपनी जांच में हत्यारोपित बताते हुए जेल भेज दिया था।
इन चारों के जेल जाने के बाद सालीम की पत्नी इमराना ने एडीजी प्रशांत कुमार से मिलकर बड़े षड़यंत्र की बात बताई। उनके निर्देश पर अपर पुलिस अधीक्षक शामली जगदीश शर्मा को पूरे मामले की पुन: जांच के निर्देश दिए थे। अपर पुलिस अधीक्षक व इंस्पेक्टर क्राइम ब्रांच श्रीराम ने तफ्तीश शुरू की तो चश्मदीद शमशाद के बयान के आधार पर जेल भेजे गए चारों आरोपितों को क्लीनचिट दी गई थी, साथ ही इकबाल, मुर्तजा, मुस्तफा तथा मुर्शीद को हत्यारोपित बनाया दिया था। इंस्पेक्टर श्रीराम ने बीते साल छह अक्टूबर को ही थाना रामपुर मनिहारान पहुंच कर उक्त चारों की गिरफ्तारी की तहरीर भी दे दी थी।
मगर हत्यारोपित बने नए आरोपितों ने डीआईजी से मिलकर जांच बदलने की मांग की। इसके बाद जांच एसओ बाबरी शामली को दिलवा दी थी। पिछले महीने 15 जनवरी को एसओ बाबरी ने थाना रामपुर मनिहारान पहुंच कर तफ्तीश शुरू कर दी है। एसओ बाबरी नेमचंद ने बताया कि रविवार रात करीब नौ बजे वह सीओ कैराना राजेश कुमार तिवारी के साथ थाना रामपुर मनिहारान पहुंचे। एसेंट कार में राकेश अरोड़ा की हत्या हुई थी, इसलिए एसेंट कार लेकर ही रात घटना स्थल पर पहुंचे। प्रदीप चेयरमैन को बुलवा कर घटना के बाबत कुछ अहम जानकारी ली। एसओ ने बताया कि एसेंट कार में जहां राकेश बैठा था, वहां एक व्यक्ति को बैठाया गया और कुछ को पीछे। कार की लाइट ऑन कर उसकी रोशनी में यह देखने की कोशिश की गई कि आखिर दूर खड़े रह कर कोई व्यक्ति हत्यारोपितों को कैसे पहचान सकता है? कुछ महत्वपूर्ण सुराग हाथ लगे हैं, जिन्हें जांच में शामिल कर लिया है। इस दौरान थाना रामपुर मनिहारान पुलिस भी साथ थी।