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सांसद आजम खां को नदी की जमीन कब्जाने के मुकदमे में मिली जमानत

कोसी नदी की जमीन कब्जाने के मामले में सांसद आजम खां की जमानत अर्जी अदालत ने मंजूर कर ली।

By JagranEdited By: Published: Sat, 06 Jun 2020 11:22 PM (IST)Updated: Sat, 06 Jun 2020 11:22 PM (IST)
सांसद आजम खां को नदी की जमीन कब्जाने के मुकदमे में मिली जमानत
सांसद आजम खां को नदी की जमीन कब्जाने के मुकदमे में मिली जमानत

रामपुर, जेएनएन। कोसी नदी की जमीन कब्जाने के मामले में सांसद आजम खां की जमानत अर्जी अदालत ने मंजूर कर ली है। लॉकडाउन में अदालतें खुलने के बाद सांसद की अब तक चार मामलों में जमानत अर्जी मंजूर हो चुकी है। सांसद इन दिनों पत्नी विधायक डॉ. तजीन फात्मा और बेटे अब्दुल्ला के साथ सीतापुर जेल में बंद हैं। तीनों ने 26 फरवरी को स्थानीय अदालत में आत्मसमर्पण किया था।

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पहले तीनों को रामपुर जिला कारागार में बंद किया था, लेकिन बाद में तीनों को सुरक्षा की दृष्टि से सीतापुर जेल में भेज दिया गया। तब से तीनों अपनी जमानत के लिए लगातार प्रयास कर रहे थे। कुछ मामलों में जमानत मिल भी गई थी, लेकिन बाद में लॉकडाउन के चलते अदालतें करीब दो माह तक बंद रहीं। अब अदालतें खुल गई हैं तो फिर से तीनों की जमानत अर्जियां लगाई गई हैं। इनमें यतीमखाना प्रकरण के दो मुकदमे और एक आचार संहिता के मुकदमे में जमानत मिल चुकी है। शनिवार को भी कुछ मामलों में उनकी जमानत अर्जियां लगी थीं। इनमें एक मामला कोसी नदी की जमीन कब्जाने का था। इस जमानत अर्जी पर बहस हुई। अभियोजन ने जमानत का विरोध किया, जबकि बचाव पक्ष ने आरोप को झूठा बताते हुए तर्क दिया कि जमीन पर कब्जा नहीं किया गया है, बल्कि लिखा पढ़ी में लीज पर ली गई थी। दोनों पक्षों की दलील सुनने के बाद एमपीएमएलए कोर्ट ने सांसद की जमानत अर्जी मंजूर कर ली है। वीरेंद्र गोयल की एक और मुकदमे में जमानत

रामपुर: यतीमखाना प्रकरण के एक अन्य मुकदमे में सपा नेता वीरेंद्र गोयल की शनिवार को जमानत मंजूर हो गई। हालांकि यतीमखाना प्रकरण में अभी कुछ और मुकदमे हैं, जिसमें उन्हें जमानत करानी है। इसके बाद ही वह जेल से रिहा हो सकेंगे। वह 26 फरवरी से जेल में बंद हैं। शत्रु संपत्ति समेत दो मामलों में नौ जून को होगी सुनवाई

रामपुर : सांसद आजम खां के खिलाफ शत्रु संपत्ति को कब्जाने और पड़ोसी पर जानलेवा हमला करने के दो अन्य मामलों में जमानत पर शनिवार को सुनवाई नहीं हो सकी। दोनों मामलों में अदालत अब नौ जून को सुनवाई करेगी। जौहर यूनिवर्सिटी में शत्रु संपत्ति कब्जाकर मिलाने का मुकदमा अजीमनगर थाने में दर्ज हुआ था। इस मामले में सांसद के अलावा उनकी पत्नी और बेटा भी आरोपित हैं। इस जमानत अर्जी पर बहस पूरी नहीं हो सकी है। इसके अलावा गंज थाने में दर्ज पड़ोसी से मारपीट और जानलेवा हमले के मुकदमे में भी जमानत अर्जी पर सुनवाई नहीं हो सकी। सहायक जिला शासकीय अधिवक्ता अमित सक्सेना ने बताया कि दोनों जमानत अर्जियों पर नौ जून को सुनवाई होगी।


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