कुर्की के डर से अपनी संपत्ति को हटा रहे आजम खां Rampur News
सहायक जिला शासकीय अधिवक्ता फौजदारी राम औतार ङ्क्षसह सैनी ने बताया कि आरोपित पक्ष के अधिवक्ता ने जमानत अर्जी वापस ले ली है।
रामपुर, जेएनएन। एमपीएमएलए कोर्ट ने सांसद और उनके परिवार के खिलाफ दिए आदेश में कहा है कि गैर जमानती वारंट के बाद पुलिस ने दबिश दी, लेकिन वे नहीं मिले। अभियोजन पक्ष ने 24 जनवरी 2020 को अदालत में प्रार्थना पत्र दिया था, जिसमें कहा था कि कुर्की की उद्घोषणा के बाद आरोपित पक्ष अपने सामान को कुर्की से बचाने के लिए धीरे-धीरे स्थानांतरित कर रहे हैं। इस पर गंज थाने से आख्या मांगी गई। गंज थाना पुलिस ने अपनी जांच रिपोर्ट में कहा कि कुर्की से बचाने के लिए आरोपित अपनी चल और अचल संपत्ति को खुर्दबुर्द कर हटा रहे हैं। इस पर तीनों के खिलाफ दोबारा गैर जमानती वारंट जारी करते हुए उनकी चल और अचल संपत्ति कुर्क करने के आदेश दिए जाते हैं।
हमसफर रिसॉर्ट मामले में वापस ली अग्रिम जमानत अर्जी
हमसफर रिसॉर्ट में सरकारी जमीन मिलाने के मामले में आरोपित सांसद आजम की पत्नी और दोनों बेटों की अग्रिम जमानत अर्जी उनके अधिवक्ता ने वापस ले ली है। यह रिसॉर्ट सांसद आजम की पत्नी विधायक डॉ. तजीन फात्मा और दोनों बेटों विधायक अब्दुल्ला व अदीम के नाम पर हैं। भाजपा नेता आकाश सक्सेना ने इस रिसॉर्ट में सरकारी जमीन होने की शिकायत जिलाधिकारी से की थी। जिलाधिकारी के निर्देश पर अधिकारियों की टीम ने जब छापा मारा था तो बिजली और पानी की चोरी का मामला सामने आया था। बिजली चोरी के मामले में पुलिस ने सांसद की पत्नी के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज की थी। इसके अलावा रिसॉर्ट में सरकारी जमीन कब्जाने के मामले में उप जिलाधिकारी सदर प्रेम प्रकाश तिवारी ने पैमाइश कराई थी। जिससे पता चला कि रिसॉर्ट में सामुदायिक उपयोग की जमीन पर कब्जा किया गया है। दोनों मामलों में कोर्ट में परिवाद दायर किए जा चुके हैं। इसके साथ ही नायब तहसीलदार की ओर से थाना कोतवाली में सांसद की पत्नी और दोनों बेटों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया गया था।
दाखिल की गई थी अर्जी
इसी मुकदमे में तीनों की ओर से एमपीएमएलए कोर्ट में अग्रिम जमानत की अर्जी दाखिल की गई थी, जिस पर मंगलवार को सुनवाई होनी थी।