खुलेंगे कपाट, भक्तों की पूरी होगी आस
जनपद के प्रसिद्ध मंदिरों में तैयारी शुरू बरते जाएंगे ऐहतियात
रायबरेली : भक्त और भगवान के बीच कोई फासला नहीं होता है। क्योंकि वो हर घर में, कण-कण में, हर दिल में रहते हैं। लेकिन, इबादत गाह, मंदिर, मस्जिद, गिरजाघर और गुरुद्वारा ये ऐसे स्थल हैं जहां पहुंचकर लोग अपने आराध्य से अपने मन की बात कहते हैं। सुकून के पल बिताते हैं। अपना दर्द साझा करते हैं। यही क्रम 75 दिनों से टूट गया था। कपाट बंद थे और भक्त बेबस। अब एक बार फिर दर्शन पूजन सुलह होंगे। सोमवार ऐतिहासिक दिन होगा। जब अपने आराध्य से भक्त आंखें मिला सकें। धार्मिक स्थलों की साफ सफाई और भक्तों के लिए कोरोना से एहतियात बरतने की तैयारियां की जा रही हैं।
शहर में अभयदाता मंदिर, मां मंशा देवी मंदिर, मां चंपा देवी मंदिर, दक्षिणमुखी हनुमान मंदिर, लालगंज में बाबा बाल्हेश्वर मंदिर ऐहार, डलमऊ गंगा घाट पर स्थापित सभी पूजा स्थलों में साफ सफाई और साजसज्जा का काम जोरों से चल रहा है। सरेनी और ऊंचाहार गंगा घाटों पर अभी से पूजन अर्चन की तैयारियों को अंतिम रूप दिया जाने लगा है। साथ ही जनपद की लगभग सभी प्रमुख इबादतगाहों, गिरिजाघरों और गुरुद्वारा को सजाने संवारने का काम भी तीव्र गति से शुरू हो गया है।
सुरक्षा नियमों का अनुपालन जरूरी
धार्मिक स्थल में शारीरिक दूरी का अनुपालन सबसे अहम है। इसके लिए धर्मगुरू और प्रबुद्धवर्ग जागरूकता फैलाने का काम कर रहे हैं। मास्क लगाना अनिवार्य है। धार्मिक स्थल में जगह के अनुरूप ही भक्तों को सीमित संख्या में आने की अनुमति वहां की समिति द्वारा दी जाएगी। अनावश्यक भीड़ न लगाने की अपील आम-ओ-खास से की जा रही है।