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पावर ग्रिड के सुरक्षा कर्मियों ने केंद्र प्रभारी के खिलाफ खोला मोर्चा

अमावां (रायबरेली) : ब्लॉक क्षेत्र के चकदादर गांव के पास स्थित पावर ग्रिड के सुरक्षा कर्मियों ने

By JagranEdited By: Published: Tue, 13 Nov 2018 11:52 PM (IST)Updated: Tue, 13 Nov 2018 11:52 PM (IST)
पावर ग्रिड के सुरक्षा कर्मियों ने केंद्र प्रभारी के खिलाफ खोला मोर्चा
पावर ग्रिड के सुरक्षा कर्मियों ने केंद्र प्रभारी के खिलाफ खोला मोर्चा

अमावां (रायबरेली) : ब्लॉक क्षेत्र के चकदादर गांव के पास स्थित पावर ग्रिड के सुरक्षा कर्मियों ने केंद्र प्रभारी के खिलाफ मंगलवार की शाम को मोर्चा खोल दिया है। उनपर मनमानी और शोषण करने का आरोप लगाते हुए सभी ने काम करने से साफ इन्कार कर दिया है। देर शाम तक सभी सुरक्षा कर्मी पावर ग्रिड के मुख्य गेट पर डटे रहे और जमकर प्रदर्शन किया। हालांकि एजेंसी के अफसरों ने मामले को निपटाने की कोशिश की, लेकिन सफलता नहीं हुई।

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पावर ग्रिड में एक सुपर वाइजर और 17 सुरक्षा कर्मी तैनात हैं। इनकी आपूर्ति एक निजी कंपनी की ओर से की गई है। बताते हैं कि सोमवार को ग्रिड के केंद्र प्रभारी ने सुपर वाइजर राजेश ¨सह और एक सुरक्षा कर्मी सुनील को नौकरी से बाहर करने का आदेश सुना दिया था। इसका पता चला तो सुरक्षा कर्मी आक्रोशित हो गए। पहले तो मंगलवार की सुबह सभी अफसर से इस कार्रवाई की वजह जानने के लिए पहुंचे। सुबह से लेकर शाम तक वे बैठे रहे, लेकिन किसी जिम्मेदार ने उनकी एक न सुनी। मामले की सूचना पर मैनपावर की आपूर्ति करने वाली कंपनी के एरिया मैनेजर अतुल उपाध्याय देर शाम ग्रिड पहुंचे और विरोध के पटाक्षेप का प्रयास किया।

एक की बहाली पर राजी नहीं सिक्योरिटी गार्ड : केंद्र प्रभारी के साथ बातचीत के बाद सिर्फ सुपरवाइजर को नौकरी पर रखने पर सहमति बनी। लेकिन आक्रोशित सुरक्षा कर्मी इस पर राजी नहीं हुए। सभी ने कामकाज ठप कर दिया और पावर ग्रिड के गेट पर एकत्र हो गए। इस दौरान हंगामा किया। सुशील चंद्र, सहदेव ¨सह, राजेंद्र ¨सह, राजेश ¨सह, अमरेश बहादुर ¨सह, रमेश कुमार, इंद्रजीत ¨सह, रंजीत ¨सह आदि सुरक्षा कर्मियों ने कहा कि पावर ग्रिड में सुरक्षा कर्मियों का शोषण किया जा रहा है। यह कतई बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। जब तक न्याय नहीं मिलता, कोई भी सुरक्षा कर्मी काम नहीं करेगा। उधर, इस प्रकरण में केंद्र प्रभारी वीके ¨सह का पक्ष जानने के लिए उन्हें कई बार फोन किए गए, लेकिन केंद्र प्रभारी फोन रिसीव न होने के कारण, उनसे बातचीत नहीं हो सकी। जिसके चलते उनका पक्ष नहीं मिला।


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