तीन शिक्षिकाओं पर पूरे जीजीआइसी की जिम्मेदारी
रायबरेली लालगंज के राजकीय बालिका इंटर कॉलेज लालगंज पूरी तरह से बदहाल है। चहारदीवार
रायबरेली : लालगंज के राजकीय बालिका इंटर कॉलेज लालगंज पूरी तरह से बदहाल है। चहारदीवारी न होने से जहां छात्राएं असुरक्षित महसूस करती हैं। वहीं भवन के चारों ओर गंदगी है। शिक्षिकाओं के अभाव में शिक्षण कार्य पूरी तरह से बाधित है। बावजूद इसके उच्चाधिकारी इस ओर से आंखें मूंदे बैठे हैं।
कुंहड़ौरा गांव स्थित राजकीय बालिका इंटर कॉलेज में एलटी ग्रेड की 12 व लेक्चरर के 9 पद श्रृजित हैं। जिसके सापेक्ष एलटी ग्रेड व लेक्चरर की तीन-तीन शिक्षिकाएं ही यहां तैनात हैं। उनमें से भी दो शिक्षिकाओं को पं. दीनदयाल, राजकीय मॉडल इंटर कालेज हरीपुर निहस्था में सम्बद्ध किया गया है। एक शिक्षिका कस्तूरबा सचान प्रभारी प्रधानाचार्य के पद पर हैं। ऐसे में तीन शिक्षिकाओं पर ही कक्षा 6 से कक्षा 12 तक के शिक्षण की पूरी जिम्मेदारी है। यही नहीं कॉलेज भवन के ठीक सामने पुस्तकालय, आर्ट क्राफ्ट अतिरिक्त कक्ष बना है जो बदहाल है। शिक्षण भवन में बने सभी कमरे बरसात में टपकते हैं। जिससे छात्राओं को नवीन भवन में बैठाया जाता है।
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विषय विशेषज्ञों का अभाव
कहने को तो यह जीजीआइसी है, लेकिन यहां पर हिदी, संस्कृत, अंग्रेजी, भूगोल, गणित आदि विषयों के शिक्षक ही नहीं हैं। हिदी विषय की शिक्षिका कीर्ति वाजपेयी को हरीपुर निहस्था कॉलेज में संबद्ध किया गया है। जबकि वहां पर लगभग एक साल से हिदी की शिक्षिका मधू सिंह तैनात हैं।
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घट रही छात्र संख्या
कुछ साल पहले यहां लगभग 700 छात्राएं अध्ययन करने आती थी। लेकिन, शिक्षिकाओं के अभाव के चलते पढ़ाई बाधित हुई तो यह संख्या घटने लगी। अब इस समय लगभग दो सैकड़ा छात्राएं ही यहां बची हैं।