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दो करोड़ कीमत के उपकरण संग अभिलेख भी गायब

ऊंचाहार (रायबरेली) : एनटीपीसी के केंद्रीय भंडारण से लगभग दो करोड़ रुपये कीमत के उपक

By JagranEdited By: Published: Wed, 16 May 2018 10:45 PM (IST)Updated: Wed, 16 May 2018 10:45 PM (IST)
दो करोड़ कीमत के उपकरण संग अभिलेख भी गायब
दो करोड़ कीमत के उपकरण संग अभिलेख भी गायब

ऊंचाहार (रायबरेली) : एनटीपीसी के केंद्रीय भंडारण से लगभग दो करोड़ रुपये कीमत के उपकरण गायब होने के मामले में बड़े स्तर पर घालमेल की बात सामने आ रही है। भंडारण से उपकरणों के रिकार्ड भी गायब हो गए हैं। एनटीपीसी प्रबंधन इसकी जांच करा रहा है। 1.80 करोड़ कीमत के उपकरण गायब होने की तहरीर पुलिस को दी गई है।

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एनटीपीसी के केंद्रीय भंडारण से उपकरण गायब होने का खुलासा मंगलवार रात समूह महाप्रबंधक आरके सिन्हा के औचक निरीक्षण के दौरान हुआ। चाकचौबंद सुरक्षा व्यवस्था के बावजूद कीमती उपकरण चोरी होने की खबर से परियोजना में हड़कंप मचा हुआ है। मामले की जांच में एनटीपीसी के विजिलेंस विभाग, सीआइएसएफ के साथ पुलिस भी लगी हुई है। एनटीपीसी के केंद्रीय भंडारण में एनटीपीसी के अधिकारी-कर्मचारियोंकी ड्यूटी रहती है। जब भंडारण से सामान निकाला जाता है तो उसकी बाकायदा नोट सीट बनती है और सामान सीआइएसएफ की निगरानी में बाहर जाता है। उसके बाद भंडार गृह को बंद कर दिया जाता है। इसके बावजूद सीआइएसएफ के जवान रात-दिन उसकी निगरानी करते हैं क्योंकि भंडार गृह में तांबा, पीतल सहित कई कीमती धातु के उपकरण होते हैं। भंडारण में करोड़ों रुपये कीमत का माल रखा होता है।

कई अधिकारी-कर्मचारी पूछताछ के दायरे में

एनटीपीसी के केंद्रीय भंडार गृह से कीमती उपकरण गायब होने के मामले में एनटीपीसी के दर्जनों की संख्या में अधिकारी और कर्मचारी जांच के दायरे में आ गए हैं। भंडार गृह के प्रभारी अधिकारी व कर्मचारी समय-समय पर बदलते रहते हैं। इसलिए अब तक जितने भी अधिकारी व कर्मचारी भंडार गृह में तैनात रहे हैं, सभी जांच के दायरे में हैं। एनटीपीसी चौकी इंचार्ज महेंद्र ¨सह ने भी पुलिस अधिकारियों के निर्देश पर एनटीपीसी से अब तक तैनात रहे अधिकारियों और कर्मचारियों की सूची तलब की है।

1998 से गायब हैं अभिलेख

एनटीपीसी के भंडार गृह में 1998 से लेकर अब तक के कई अभिलेख गायब हैं। भंडार गृह में कब-कब, कहां-कहां से कितना सामान खरीदा गया और उसमे से कितना सामान प्रयोग में लाया गया, इसके महत्वपूर्ण अभिलेख नहीं मिल रहे हैं। यही नहीं, जहां से सामानों की खरीदारी की गयी है, उसकी कई सालों की रसीद तक नहीं मिल पा रही है। सामान के साथ अभिलेखों के गायब होने से यह साबित होता है कि एक सोची समझी साजिश के तहत सामान को गायब किया गया है। इस मामले में सुरक्षा व्यवस्था भी संदेह के घेरे में है क्योंकि पूरा भंडार गृह सीआइएसएफ की निगरानी में है।

1.80 करोड़ के उपकरण गायब

एनटीपीसी के वरिष्ठ प्रबंधक लीलाधर ने केंद्रीय भंडारण में तैनात अधिकारी-कर्मचारियों पर संदेह जताते हुए कोतवाली में तहरीर देकर 1.80 करोड़ के उपकरण गायब होने की बात बतायी है। पुलिस अज्ञात के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर रही है। पुलिस उपाधीक्षक विनीत ¨सह का कहना है कि तहरीर के आधार पर मुकदमा दर्ज कर लिया गया है। भंडारण में तैनात अधिकारियों व कर्मचारियों से पुलिस पूछताछ करेगी। जल्द ही उपकरण गायब करने वालों का पता लगा लिया जाएगा।


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