आधी आबादी को साथ लेकर चलने की है जरूरत Prayagraj News
मैकाले की शिक्षा पद्धति के विकल्प के रूप में डीएवी संस्थान सामने आया। महर्षि दयानंद ने समाज को ज्ञानमूलक बनाना चाहा जहां महिलाओं की बराबर की भागीदारी होनी चाहिए।
प्रयागराज,जेएनएन : राज्यसभा के उप सभापति हरिवंश नारायण सिंह ने कहा कि वर्तमान दौर में चीन यदि आगे है तो आधी आबादी को साथ लेकर चलने की वजह से। यदि भारत भी आधी आबादी को साथ लेकर चले तो वह भी निरंतर आगे बढ़ता रहेगा। कोई भी समाज आधी ताकत को पीछे छोड़कर आगे नहीं बढ़ सकता।
वह सोमवार को बतौर मुख्य अतिथि आर्य कन्या डिग्री कॉलेज के 45वें वार्षिकोत्सव में बोल रहे थे। उन्होंने कहा मैकाले की शिक्षा पद्धति के विकल्प के रूप में डीएवी संस्थान सामने आया। महर्षि दयानंद ने समाज को ज्ञानमूलक बनाना चाहा, जहां महिलाओं की बराबर की भागीदारी होनी चाहिए।
विशिष्ट अतिथि इलाहाबाद विवि के कुलपति प्रो. रतन लाल हांगलू ने कहा कि आधारभूत संरचना कम होने पर भी यह कॉलेज विभिन्न संकायों के माध्यम से महिलाओं को सशक्त बना रहा है। इस दौरान प्रो. हांगलू ने महाविद्यालय को विधि संकाय प्रदान करने की घोषणा की। साथ ही अन्य विषयों में परास्नातक की पढ़ाई पर जोर दिया। कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए राज्यसभा सांसद कुंवर रेवती रमण सिंह ने कुलपति की सराहना करते हुए कहा कि प्रो. हांगलू ने इविवि का खोया गौरव वापस दिलाया। इस अवसर पर अतिथियों ने कॉलेज के नवनिर्मित वाणिज्य भवन का लोकार्पण किया और कॉलेज की पत्रिका आर्य गरिमा और न्यूज लेटर का भी विमोचन किया। शासी निकाय के अध्यक्ष पंकज जायसवाल ने अतिथियों को सम्मानित किया। प्राचार्या डॉ. रमा सिंह ने कॉलेज की प्रगति व उपलब्धि गिनाई। कार्यक्रम का संचालन डॉ. रंजना त्रिपाठी ने किया।
सांस्कृतिक कार्यक्रमों से मोहा मन:
वार्षिकोत्सव में छात्राओं ने रंगारंग प्रस्तुति से लोगों का मन मोह लिया। छात्राओं ने राजस्थानी नृत्य से खूब तालियां बटोरी। इस दौरान लोकगीत की प्रस्तुति के साथ ध्रुवस्वामिनी नाटक का भी मंचन हुआ।
मेधावियों को बांटे मेडल:
वार्षिकोत्सव में छात्राओं को मेडल व सर्टिफिकेट भी प्रदान किए गए। सर्वाधिक अंक के लिए शिखा मिश्रा, सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ी के लिए कल्पना यादव एवं शिल्पा सिंह को मेडल व प्रमाण पत्र प्रदान किया गया। इसी क्रम में बीए एवं एमए के सभी विषयों में सर्वाधिक अंक पाने वाली छात्राओं को मेडल एवं प्रमाण पत्र प्रदान किया गया। इस दौरान डॉ. कल्पना वर्मा की पुस्तक 'परम्परा व आधुनिकतÓ व डॉ. ज्योति रानी जायसवाल की पुस्तक 'झरोखा जिंदगी का अतिथियों ने विमोचन किया।