कोरोना से अनाथ 32 बच्चों को नहीं मिला लाभ
कोरोना महामारी की वजह से अनाथ हुए बच्चे अपने सगे संबंधियों के संरक्षण में रह रहे हैंलेकिन अभी तक ये बच्चे माता या पिता अथवा दोनों को खो देने के सदमे से उबर नहीं पाए हैं। शासन की ओर से पिछले दिनों इन बच्चों के लिए जो घोषणा की गई थी उसके अनुसार अभी धनराशि जारी नहीं हो सकी है।
पीलीभीत,जेएनएन : कोरोना महामारी की वजह से अनाथ हुए बच्चे अपने सगे संबंधियों के संरक्षण में रह रहे हैं,लेकिन अभी तक ये बच्चे माता या पिता अथवा दोनों को खो देने के सदमे से उबर नहीं पाए हैं। शासन की ओर से पिछले दिनों इन बच्चों के लिए जो घोषणा की गई थी, उसके अनुसार अभी धनराशि जारी नहीं हो सकी है।
पिछले दिनों शासन के निर्देश पर जिले में कुल 32 ऐसे बच्चे चिह्नित कर सूचीबद्ध किए गए, जिनके माता या पिता अथवा दोनों कोरोना से संक्रमित होकर दिवंगत हो चुके हैं। ऐसे बच्चों के लिए शासन ने मुख्यमंत्री बाल सेवा योजना के तहत आर्थिक सहायता देने का निर्णय लिया है। हालांकि अभी तक किसी भी बच्चे को आर्थिक सहायता राशि नहीं मिल सकी है। बीसलपुर के मुहल्ला दुर्गाप्रसाद में तीन ऐसे अनाथ बच्चे हैं, जिनकी माता का देहांत तो कई साल पहले बीमारी से हो चुका था। पिछले दिनों कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर की चपेट में आकर पिता भी चल बसे। अब ये बच्चे अपने घर में बिल्कुल अकेले हैं। टूटा फूटा मकान हैं। ऐसे में दिन में अपने घर में रहते हैं और रात को सोने के लिए पड़ोस में रहने वाले रिश्तेदार के यहां चले जाते हैं। इनके पिता की मौत को कोरोना से हुई लेकिन उसका कोई प्रमाण इन बच्चों के पास नहीं है। क्योंकि उनके पिता का कोरोना टेस्ट नहीं कराया गया था। पिछले दिनों जागरण में इन अनाथ बच्चों के बारे में समाचार प्रकाशित होने के बाद विधायक रामसरन वर्मा बच्चों के घर पहुंचे और दस हजार की आर्थिक सहायता दिलाई थी। उसके अलावा अभी तक इन बच्चों को कोई मदद नहीं मिल सकी है। कोरोना से अनाथ हुए जिले में 32 बच्चे हैं। ये सभी अपने सगे संबंधियों के संरक्षण में रह रहे हैं। इन्हें मुख्यमंत्री बाल सेवा योजना से चार-चार हजार रुपये महीने प्रदान किए जाएंगे। इसके लिए बजट प्राप्त हो गया है। जल्द ही इन बच्चों के खातों में धनराशि भेजी जाएगी।
संजय कुमार निगम, जिला प्रोबेशन अधिकारी