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Noida Crime: प्रॉपर्टी खरीद और वेबसाइट पर फर्जी मालिक बन ठगी करने वाले गिरोह का पर्दाफाश, चार गिरफ्तार

प्रॉपर्टी खरीद और बिक्री की वेबसाइट पर फर्जी मालिक या ब्रोकर बनकर धोखाधड़ी करने वाले गिरोह का पर्दाफाश करते हुए बुधवार को पुलिस ने चार अपराधियों को दबोच लिया। आरोपितों के कब्जे से एक एटीएम कार्ड सात फर्जी आधार कार्ड पासबुक और 20 हजार की नकदी बरामद हुई है।

By Jagran NewsEdited By: GeetarjunPublished: Wed, 01 Feb 2023 10:59 PM (IST)Updated: Wed, 01 Feb 2023 10:59 PM (IST)
Noida Crime: प्रॉपर्टी खरीद और वेबसाइट पर फर्जी मालिक बन ठगी करने वाले गिरोह का पर्दाफाश, चार गिरफ्तार
प्रॉपर्टी खरीद और वेबसाइट पर फर्जी मालिक बन ठगी करने वाले गिरोह का पर्दाफाश, चार गिरफ्तार

नोएडा, जागरण संवाददाता। प्रॉपर्टी खरीद और बिक्री की वेबसाइट पर फर्जी मालिक या ब्रोकर बनकर लोगों से धोखाधड़ी करने वाले गिरोह का पर्दाफाश करते हुए बुधवार को सेक्टर-39 कोतवाली पुलिस ने चार शातिर अपराधियों को दबोच लिया। आरोपितों के कब्जे से एक एटीएम कार्ड, सात फर्जी आधार कार्ड, पासबुक और 20 हजार की नकदी बरामद हुई है।

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आरोपितों की पहचान बिहार के मुजफ्फरपुर के अमितेश मिश्रा, भोजपुर के मृत्युंजय चौबे, एक्सप्रेस-वे कोतवाली क्षेत्र स्थित नगला नगली गांव के अनिल चौहान और सलारपुर के पुष्पेंद्र के रूप में हुई है। गिरफ्त में आए चारों आरोपितों का काम विभाजित था।

अमितेश मिश्रा उर्फ करण ग्राहकों से बात कर फ्लैट या कामर्शियल प्रॉपर्टी को दिखाने के लिए समय निर्धारित करने का काम करता था। पुष्पेंद्र ग्राहक को फ्लैट या कमर्शियल प्रॉपर्टी को मौके पर जाकर दिखाता था और फर्जी फ्लैट मालिक से फोन पर बात कराता था।

अनिल चौहान फर्जी फ्लैट मालिक बन कस्टमर से फोन पर बात करता था और फर्जी रेंट एग्रीमेंट तैयार कर एग्रीमेंट की छायाप्रति ग्राहक को देता था। मृत्युन्जय के खाते में रकम ट्रांसफर कराई जाती थी। इसके बाद चारों रकम का बराबर बंटवारा करते थे।

एडिशनल डीसीपी आशुतोष द्विवेदी ने बताया कि शातिर प्रॉपर्टी खरीद और ब्रिकी संबंधी मैजिकब्रिक्स, 99 एकर्स सहित अन्य वेबसाइट पर फ्लैट व कामर्शियल प्रॉपर्टी का फर्जी मालिक बन उसे किराये पर उठाने के लिए विज्ञापन डालते थे। विज्ञापन देखने के बाद जैसे ही ग्राहक शातिरों द्वारा उपलब्ध कराए गए नंबर पर फोन करता था, आरोपित उसे झांसे में लेते थे।

बीते तीन माह के भीतर आरोपितों ने इसी प्रकार से कुल सात लाख रुपये की ठगी की है। अभी तक कुल नौ लोगों के साथ ठगी की बात सामने आई है। शातिरों का आपराधिक इतिहास पता किया जा रहा है।

गलत नाम और पता डालकर करते थे ठगी

एसीपी रजनीश वर्मा ने बताया कि आरोपित रियल एस्टेट की साइट पर गलत नाम और मोबाइल नंबर डालकर आइडी बनाते थे और फ्लैट दिलाने का झांसा देकर ठगी करते थे। कुछ दिनों से पुलिस को शिकायत मिल रही थी कि आनलाइन साइट पर किराये पर फ्लैट दिलाने के नाम पर ठगी की जा रही है। जांच के दौरान चारों की संलिप्तता इसमें पाई गई।


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