अब तक शहर में 124 इमारतों को किया गया चिह्नित
ष 2015 से लेकर अब तक कुल 124 ऐसी इमारतों को चिन्हित किया गया। जिनका निर्माण अवैध तरीके से कराया गया। इनमे से अधिकांश इमारत प्राधिकरण अधिसूचित क्षेत्र में व कई इमारते लाल डोरे की जमीन पर बनाई गई है। इनके मालिकों के खिलाफ प्राधिकरण द्वारा विभिन्न थानों में मुकदमों भी दर्ज कराए गए है। सवाल यह है कि अब तक इन इमारतों को ध्वस्त क्यों नहीं किया। साथ ही इनके मालिकों के खिलाफ कार्रवाई क्यों नहीं की गई। शाहबेरी घटना के बाद प्राधिकरण ने दो दिन में ही 13 और ऐसे लोगों के खिलाफ थानों में शिकायत की जिन्होंने अवैध निर्माण कर रखा है।
जागरण संवाददाता, नोएडा : वर्ष 2015 से लेकर अब तक कुल 124 ऐसी इमारतों को चिह्नित किया गया है जिनका निर्माण अवैध है। इनमें से अधिकांश इमारत प्राधिकरण अधिसूचित क्षेत्र में व कई इमारतें लाल डोरे की जमीन पर बनाई गई है।
इनके मालिकों के खिलाफ प्राधिकरण द्वारा विभिन्न थानों में मुकदमों भी दर्ज कराए गए हैं। सवाल यह है कि अब तक इन इमारतों को ध्वस्त क्यों नहीं किया। शाहबेरी घटना के बाद प्राधिकरण ने दो दिन में ही 13 और ऐसे लोगों के खिलाफ थानों में शिकायत की जिन्होंने अवैध निर्माण कर रखा है। सेक्टरों को छोड़ दिया जाए तो यहा लाल डोरे में बहुमंजिला इमारतों का जाल बिछा है। हजारों की संख्या में लोग रह भी रहे हैं। ऐसे में अब तक महज 124 इमारतों को ही प्राधिकरण चिह्नित किया। सोमवार से सी¨लग की कार्रवाई
प्राधिकरण की टीमों द्वारा गांव व प्राधिकरण अधिसूचित क्षेत्र में जर्जर व अवैध निर्माण की गई इमारतों का सर्वे किया जा रहा है। इसका सर्वे रविवार तक पूरा हो सकता है। लिहाजा सोमवार से यहा जर्जर इमारतों को सील करने का काम किया जा सकता है। 24 बिल्डरों पर कार्रवाई क्यों नहीं
निबंधन विभाग ने शहर के ऐसे 24 बिल्डरों के खिलाफ शहर के थानों में मुकदमा दर्ज कराया था जिन्होंने बायर्स को मकानों पर कब्जा तो दे दिया। लेकिन अब तक रजिस्ट्री नहीं कराई। इससे रजिस्ट्री विभाग को करोड़ों रुपए के हानि हुई है।