सृष्टि के शिल्पकार भगवान विश्वकर्मा की पूजा -अर्चना की गयी
चौधरी कदम ¨सह मेमोरियल औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान-ककराला में भगवान श्रीविश्व
भोपा (मुजफ्फरनगर) : चौधरी कदम ¨सह मेमोरियल औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान-ककराला में भगवान श्रीविश्वकर्माजी का पूजन किया गया। सिद्धपीठ मां पूर्णागिरी मंदिर के महामंडलेश्वर गोपाल महाराज, प्रबंधक सचिन सरोहा, प्रधानाचार्य विशाल कुमार, शिवम, सूरजमल, प्रमोद, योगेश, फूल ¨सह, पूजा, अजय व अनिल आदि मौजूद रहे। कस्बा मोरना में भोपा रोड पर विश्वकर्मा समाज तिरंगा कमेटी की ओर से हवन-यज्ञ के बाद विधि-विधान से भगवान विश्वकर्माजी का पूजन किया गया। इसके बाद बैंडबाजे के बीच विशाल शोभायात्रा निकाली गई। शोभायात्रा चौधरी चरण ¨सह चौक, बस स्टैंड, नई बस्ती, मेन बाजार, शिक्षक कालोनी से होती हुई लौटी। भगवान विश्वकर्मा, शिव-पार्वती, राधा-कृष्ण व हनुमानजी आदि की सुंदर झांकी सजाई गई। कमेटी के सुभाष चंद धीमान, अशोक धीमान, सुनील, सुधीर, टीटू, कपिल धीमान, हरीश, बिल्लू, सतपाल, सुशील व सोहनवीर आदि मौजूद रहे। दि गंगा किसान सहकारी चीनी मिल के वर्कशॉप में श्रीविश्वकर्मा जयंती पर विधि विधान से मशीनों का पूजन किया गया। मुख्य अभियंता एसएस ¨सह, सीओ अवधेश कुमार, अशोक शर्मा, ऋषिपाल, सीपी ¨सह, श्रमिक नेता चंद्रपाल मलिक, लज्जाराम, कालूराम, प्रमोद शुक्ला व सुशील कुमार आदि मौजूद रहे। धूमधाम से मनाई गई विश्वकर्मा जयंती
संवाद सूत्र, जानसठ : क्षेत्र में सोमवार को विश्वकर्मा जयंती पूरे धूमधाम से मनाई गई। स्कूल कॉलेजों में अध्यापकों ने बच्चों का विश्वकर्माजी के जीवन से परिचित कराते हुए उनके दिखाए मार्ग पर चलने की अपील की। विश्वकर्मा समाज के लोगों ने यज्ञ द्वारा उनका स्मरण किया।
कस्बे के डीएवी इंटर कॉलेज मे विश्वकर्मा जयंती के उपलक्ष्य में प्रधानाचार्य समुद्र सैन ने विश्वकर्माजी को संसार का महान शिल्पकार बताते हुए छात्रों को उनके जीवन के बारे में बताया। इससे पूर्व भगवान विश्वकर्माजी के चित्र पर श्रद्धासुमन अर्पित कर उन्हें याद किया गया। कॉलेज के उप प्रधानाचार्य संजय पंत ने बताया कि हमें विश्वकर्माजी के बताए गए मार्ग पर चलना चाहिए। मनोज वर्मा, सचिन शर्मा, प्यारेलाल सैनी, ब्रजेश कुमार, योगेंद्र ठाकुर, राजेंद्र कुमार, केशन ¨सह व नरेंद्र कुमार समेत कॉलेज का समस्त स्टाफ मौजूद रहा।
गोमती कन्या इंटर कॉलेज में प्रधानाचार्य ज्योतिबाला के अलावा रेखा गर्ग व द्रौपद मित्तल आदि अध्यापिकाओं ने छात्राओं को बताया कि सृष्टि की रचना में विश्वकर्माजी का उल्लेखनीय योगदान रहा था। उस समय उनके योगदान के बिना सृष्टि की रचना के बारे में सोचा भी नहीं जा सकता था। स्कूल के समस्त स्टाफ ने उनके चित्र पर माल्यार्पण कर उनके दिखाए मार्ग का अनुसरण करने की अपील की।