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तालाब में डूबा जुगाड़, आठ छात्राओं समेत 15 घायल

खतौली : रतनपुरी थाना क्षेत्र के सठेड़ी गांव में सोमवार शाम यात्रियों से भरा जुगाड़ तालाब में ड

By JagranEdited By: Published: Mon, 19 Nov 2018 10:35 PM (IST)Updated: Mon, 19 Nov 2018 10:35 PM (IST)
तालाब में डूबा जुगाड़, आठ छात्राओं समेत 15 घायल
तालाब में डूबा जुगाड़, आठ छात्राओं समेत 15 घायल

खतौली : रतनपुरी थाना क्षेत्र के सठेड़ी गांव में सोमवार शाम यात्रियों से भरा जुगाड़ तालाब में डूब गया। सवारियों को लोगों ने बचाया। दुर्घटना में आठ छात्राओं समेत कई लोग घायल हो गए, जिन्हें सरकारी अस्पताल पहुंचाया गया। चालक जुगाड़ छोड़कर भाग गया।

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मुजाहिदपुर गांव निवासी सुनील पुत्र साहब ¨सह खतौली से मुजाहिदपुर के बीच जुगाड़ चलाता है। सोमवार शाम करीब चार बजे सुनील जुगाड़ में सवारियां लेकर खतौली से मुजाहिदपुर जा रहा था। जुगाड़ में 15 लोग सवार थे, जिनमें अधिकतर विद्योत्तमा कन्या डिग्री कॉलेज की छात्राएं थीं। जुगाड़ जब सठेड़ी में तालाब के पास पहुंचा तो उसके आगे चल रही रोडवेज की बस के चालक ने अचानक ब्रेक लगा दिए। उससे बचने के प्रयास में जुगाड़ का संतुलन बिगड़ गया और वह तालाब में गिर गया। राहगीरों व अन्य लोगों ने तालाब में कूदकर जुगाड़ सवार लोगों को बाहर निकाला। दुर्घटना में मुजाहिदपुर निवासी विद्योत्तमा कन्या डिग्री कॉलेज की छात्रा गुंजन, आरती, कक्कू, रिक्की, पायल, कंचन, अंजलि, शिवानी, मुजाहिदपुर निवासी महिला गीता, कुलदीप और वृद्ध भागमल आदि घायल हो गए। लोगों ने पुलिस को जानकारी दी। पुलिस ने घायलों को सीएचसी पहुंचाया। इनमें तीन छात्राओं को परिजन गांव के चिकित्सक के पास ले गए। भागमल को जिला अस्पताल रेफर किया गया है। उनकी आंखों ने देखा मौत का मंजर

खतौली : तालाब में जुगाड़ पलटने से घायल छात्रा गुंजन, आरती व पायल आदि ने बताया कि अचानक तेज गति में दौड़ता हुआ जुगाड़ जब तालाब में गिरा तो उन्हें लगा कि उनके सामने मौत खड़ी है। उन्हें बचने की उम्मीद नहीं थी, लेकिन राहगीरों ने तुरंत तालाब में कूदकर उनकी जान बचाई। वह मंजर याद कर सिहर गई, उनकी आंखों में आंसू आ गए। जुगाड़ का सफर करना मजबूरी

खतौली : सरकार यातायात के साधन उपलब्ध कराने के लाख दावे करे, लेकिन हकीकत इससे उलट है। खतौली में अनेक रूटों पर बसों या यातायात के अन्य सार्वजनिक वाहनों का संचालन नहीं होता। मजबूरन लोगों को अपनी जान जोखिम में डालकर जुगाड़ का सफर करना पड़ता है। मुजाहिदपुर के लिए कोई वाहन नहीं चलते। यहां के लोगों को जुगाड़ में ही सफर करना पड़ता है।


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