नुमाइश को नहीं मिले खरीदार, फिर से लगेगी बोली
नुमाइश मैदान में 10 दिसंबर से लगने वाली जिला कृषि एवं औद्योगिक प्रदर्शनी (नुमाइश) के लिए प्रशासन को खरीदार नहीं मिले हैं। दरअसल प्रशासन दो करोड़ रुपये राजस्व की मंशा है जबकि सबसे बड़ी बोली 66 लाख ही लग पाई। अब बोली के लिए दूसरी तिथि घोषित की जाएगी।
जेएनएन, मुजफ्फरनगर। नुमाइश मैदान में 10 दिसंबर से लगने वाली जिला कृषि एवं औद्योगिक प्रदर्शनी (नुमाइश) के लिए प्रशासन को खरीदार नहीं मिले हैं। दरअसल, प्रशासन दो करोड़ रुपये राजस्व की मंशा है, जबकि सबसे बड़ी बोली 66 लाख ही लग पाई। अब बोली के लिए दूसरी तिथि घोषित की जाएगी।
मेरठ रोड स्थित नुमाइश मैदान में 27 नवंबर तक मेला लगा रहा। इसके बाद मैदान को खाली कराया गया। हालांकि मेले में जो झूले और साज-सज्जा के सामने के स्टाल लगे हैं वैसे ही स्टाल जिला कृषि एवं औद्योगिक प्रदर्शनी में लगने हैं। इसका समय 10 दिसंबर से पांच जनवरी तक रखा गया है। प्रदर्शनी में सांस्कृतिक और रंगारंग कार्यक्रम भी शामिल किए गए हैं। तीन वर्ष पूर्व इसी कार्यक्रम पर डेढ़ करोड़ से अधिक राजस्व प्राप्त हुआ था। इस बार प्रशासन की मंशा दो करोज राजस्व प्राप्त की है। सोमवार को नुमाइश का ठेका लेने वाल जिला पंचायत सभाकक्ष में एकत्र हुए। सिटी मजिस्ट्रेट अनूप श्रीवास्तव की मौजूदगी में बोली लगाई गई। अधिकतम बोली 66 लाख तक ही पहुंच पाई। इसके बाद प्रशासन ने इसे निरस्त कर दिया। अगली बोली के लिए निविदा जारी करने को कहा गया। सिटी मजिस्ट्रेट ने बताया कि 31 दिसंबर और पहली जनवरी को नुमाइश में अच्छी इनकम होनी की उम्मीद है। इसी के चलते राजस्व अच्छा आएगा। पूर्व में जो प्रदर्शनी लगी थी उसके सापेक्ष बोली नहीं लगी, जिसके चलते इसे स्वीकार नहीं किया गया। अब दोबोरा से बोली प्रक्रिया की जाएगी।
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मेला 15 लाख में कराया
वहीं ठेकेदारों ने कहा कि एक माह के लिए प्रशासन ने मेला मात्र 15 लाख रुपये में करा दिया। अब प्रदर्शनी के लिए एक करोड़ से अधिक क्यों दें। मेले में भी झूले समेत विभिन्न सामानों के स्टाल लगाए गए। इसी प्रकार के झूले और स्टाल प्रदर्शनी में लगेंगे।