दुल्हेंडी पर चारों ओर उड़ा अबीर गुलाल
आपसी सौहार्द भाईचारा हंसी खुशी गिले शिकवे दूर करने का प्रतीक रंगों का त्योहार होली जनपद में परंपरागत तरीके से हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। चारों ओर जमकर अबीर गुलाल उड़ा। विभिन्न स्थानों पर होली मिलन के कार्यक्रम हुए। डीजे पर बज रहे होली के गीतों एवं
मुजफ्फरनगर : आपसी सौहार्द, भाईचारा, हंसी खुशी, गिले शिकवे दूर करने का प्रतीक रंगों का त्योहार होली जनपद में परंपरागत तरीके से हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। चारों ओर जमकर अबीर गुलाल उड़ा। विभिन्न स्थानों पर होली मिलन के कार्यक्रम हुए। डीजे पर बज रहे होली के गीतों एवं रागनियों पर युवा व बच्चे रंगों की बौछार करते रहते हुए झूमते नाचते रहे।
गुरुवार को दुल्हेंडी पर सभी घरों में होली की प्रसिद्ध मिठाई गुंझिया, ठंडी चाट, पकवान आदि बनाए गए। सुबह से ही लोगों ने होली खेलना शुरू किया। सभी ने अपने मोहल्ले, पड़ोस, मिलने वालों, रिश्तेदारों, दोस्तों के घर पर जाकर उन्हें गुलाल लगाया और उनके गले मिलकर होली की शुभकामनाएं दी। शहर के हर गली-मोहल्ले में जमकर अबीर गुलाल उड़ा। जगह-जगह डीजे बज रहे थे। बड़ा हो या बुजुर्ग, बच्चा हो या युवा, सभी रंग में रंगे हुए थे। होली के गीतों पर सभी थिरकते नजर आ रहे थे। शहर में सैकड़ों स्थानों पर विभिन्न स्थानों पर होली मिलन के कार्यक्रम हुए, जिनमें होली के गीतों व रागनियों पर युवा झूमते रहे। सभी ने एक-दूसरे को होली की शुभकामनाएं दीं।