लेखपालों ने किया कार्य का बहिष्कार
बुढ़ाना कस्बे के तहसील परिसर में सभी लेखपालों ने तहसीलदार पर दुर्व्यवहार का आरोप लगाते हुए धरना दिया। इस दौरान धरने पर बैठे लेखपालों ने जमकर नारेबाजी की।
जेएनएन, मुजफ्फरनगर। बुढ़ाना कस्बे के तहसील परिसर में सभी लेखपालों ने तहसीलदार पर दुर्व्यवहार का आरोप लगाते हुए धरना दिया। इस दौरान धरने पर बैठे लेखपालों ने जमकर नारेबाजी की।
गुरुवार को तहसील परिसर में कार्य बहिष्कार कर धरने पर बैठे लेखपालों ने तहसीलदार मनोज कुमार पर दुर्व्यवहार का आरोप लगाया। लेखपाल संघ के सचिव ललित मोहन ने बताया कि तहसीलदार का व्यवहार लेखपालों के प्रति ठीक नहीं है। उनके द्वारा आए दिन लेखपालों के साथ दुर्व्यवहार किया जाता है। इस कारण सभी लेखपाल क्षुब्ध हैं। कार्य बहिष्कार कर धरने पर बैठे लेखपालों ने तहसीलदार के विरुद्ध जमकर नारेबाजी की। घंटों चले धरने के बाद तहसीलदार से वार्ता कर संतुष्ट होने पर लेखपालों ने धरना समाप्त कर दिया।
तहसीलदार मनोज कुमार का कहना है कि लेखपालों द्वारा लगाए जा रहे आरोप असत्य और आधारहीन हैं और राजनीति से प्रेरित होकर ऐसा किया गया। धरने पर ओमप्रकाश सिंह, प्रवीण कुमार, मुकेश शर्मा, निशा, रविता, वारिस अली, ब्रह्मा सिंह, यशवीर, अश्विनी कुमार आदि मौजूद रहे। किसानों के समर्थन में अधिवक्ता रहेंगे हड़ताल पर
संसू, बुढ़ाना : तहसील के बार एसोसिएशन के महासचिव ओमपाल मलिक ने बताया कि किसान अपनी मांगों को लेकर आंदोलन कर रहे हैं। बार एसोसिएशन ने गुरुवार को बैठक कर किसानों के आंदोलन को समर्थन देने का निर्णय लिया है। उन्होंने बताया कि सभी अधिवक्ता शुक्रवार को कलमबंद हड़ताल पर रहेंगे। कोरोना काल में शाकाहार ही स्वस्थ आहार : साध्वी मनीषा
संवाद सूत्र, शाहपुर : जैन साध्वी माता मनीषा ने कहा कि कोरोना काल में शाकाहार ही स्वस्थ आहार है।
कस्बे में शुक्रवार को प्रवास के दौरान जैन स्थानक में प्रवचन करते हुए कहा कि पुरातन काल से ही हमारे ऋषि मुनि शाकाहार के बल पर दीर्घायु प्राप्त करते रहे हैं। शाकाहार जीवन से ज्ञान अर्जित किया जा सकता है। आज मनुष्य तामसिक आहार लेकर अनेक रोगों से घिर गया है जबकि आज भी शाकाहार ही स्वस्थ आहार है। कोरोना जैसी वैश्विक महामारी से शाकाहार अपनाकर बचा जा सकता है। हमारे ऋषि-मुनियों के बताए गए आयुर्वेदिक नुस्खे कोरोना बीमारी में कारगर साबित हो रहे हैं। उन्होंने युवाओं को शाकाहार अपनाने का आह्वान करते हुए शाकाहारी जीवन की महत्ता बताई। इस दौरान राजेन्द्र जैन, शीलचंद जैन, संजीव जैन, मनमोहन जैन, सतीश जैन, हर्षित जैन, पारस, शगुन, नवीन, प्रवीण, पंकज, जतिन, राजीव, तरुण जैन मौजूद रहे।