वार्ड में गंदगी देख महिला आयोग की उपाध्यक्ष ने जताई नाराजगी Rampur News
इस सबके बावजूद उन्हें एक वार्ड में गंदगी मिल ही गई। वहां से उठती बदबू के कारण उन्हें मुंह ढकना पड़ा तो उन्होंने इस पर कड़ी नाराजगी जताई।
रामपुर,जेएनएन। राज्य महिला आयोग की उपाध्यक्ष अंजू चौधरी ने महिला अस्पताल का निरीक्षण किया। उनके दौरे की भनक लगते ही स्टाफ में हड़कंप मच गया। आननफानन में व्यवस्थाएं दुरुस्त की जाने लगीं। सारे सफाईकर्मियों को काम पर लगा दिया गया। उनके परिसर में पहुंचने पर नजारा यह था कि कहीं मशीन से तो कहीं मॉब से सफाई की जा रही थी।
निरीक्षण के दौरान जब वह एक वार्ड में पहुंची तो घुसते ही ऐसी बदबू का सामना करना पड़ा, कि उन्हें आंचल से मुंह ढकना पड़ गया। इस पर उन्होंने रोष व्यक्त किया। कहा कि अस्पताल में नियमित रूप से सफाई रखना चाहिए। वार्ड का यह माहौल मरीजों के स्वास्थ्य को और खराब करेगा। इसके साथ ही एक बेड पर दो मरीजों को देख कर भी उन्होंने नाराजगी जताई। पता चला कि रोगियों की संख्या अधिक है, जबकि पलंग कम हैं। इसके बाद उन्होंने ओपीडी, टीकाकरण कक्ष, ड्यूटीरूम, ऑपरेशन थिएटर, डिलीवरी रूम, पैथोलॉजी लैब व शौचालय का भी निरीक्षण किया। स्टाफ नर्स के विषय में पता किया तो पता चला कि 12 नर्स हैं। साथ ही चिकित्सकों की भी काफी कमी है। 11 चिकित्सकों के सापेक्ष मात्र चार ही चिकित्सकों की नियुक्ति है। आयुष्मान कार्ड के विषय में जानकारी ली। पता चला कि 80 हजार गोल्डन कार्ड बनाए जा चुके हैं। 126 महिलाएं इसके अंतर्गत अब तक लाभान्वित हो चुकी हैं। इसके अलावा लाइट, जेनरेटर, पानी व आरओ की व्यवस्था की जानकारी भी ली। इस दौरान उन्हें जानकारी मिली कि संविदा पर तैनात डॉ. महविश अस्पताल में न रह कर अपने निजी क्लीनिक पर रहती हैं। कभी-कभी कुछ देर के लिए आ जाती हैं, उसके बाद अपने क्लीनिक पर चली जाती हैं। यह भी पता चला कि चार महीनों से उन्होंने कोई सर्जरी भी नहीं की है।
सीएमएस डॉ. प्रभा रानी से पूछा तो उन्होंने बताया कि सीएमओ के संज्ञान में मामला डाला जा चुका है। इस पर वह उनके कक्ष में गईं और पूछताछ की। वहां डॉ. महविश ने बताया कि उन्होंने त्यागपत्र दे दिया है और नोटिस पीरियड पर चल रही हैं। इसके बाद वह जिला कारागार में गईं और महिला कैदियों से बात की। भोजन की व्यवस्था व शौचालय आदि का भी दौरा किया। सब कुछ ठीक मिला। इस दौरान जेल अधीक्षक पीडी सलोनिया आदि साथ रहे।