कुर्सी के लिए बदलने वाले थे पाला, अब मुरझाए चेहरे
मुरादाबाद (रईस शेख) : सियासत में पाला बदलना नई बात नहीं। अनेक नेता ऐसे हैं जो चुनावी मौसम
मुरादाबाद (रईस शेख) : सियासत में पाला बदलना नई बात नहीं। अनेक नेता ऐसे हैं जो चुनावी मौसम आते ही पाला बदलने की जुगत में लग जाते हैं। मूल पार्टी से टिकट न मिलने की सुगबुगाहट पर वे दूसरे दलों में पैठ बनानी शुरू कर देते हैं। इस बार भी ऐसा ही माहौल बनने लगा है। टिकट न मिलने के आसार देखते हुए कई सपाई कांग्रेस आलाकमान तक अपनी अर्जी पहुंचा चुके हैं। फिलवक्त पूर्व क्रिकेटर मुहम्मद अजहरूद्दीन के चुनाव लड़ने की सुगबुगाहट से उनके चेहरों पर मायूसी छा गई है। अजहर 2009 में इसी पिच पर सफलता का झंडा गाड़ चुके हैं।
सियासत में कोई अपना नहीं
सियासत में कोई, किसी का सगा नहीं। समय पर जो काम आ जाए वही सियासत की शतरंजी चाल और सफलता की कुंजी भी है। गठबंधन क स्थिति में मुरादाबाद लोकसभा सीट कांग्रेस के लिए छोड़े जाने की सुगबुगाहट से अनेक सपाइयों ने कांग्रेस में पैठ बनाने की कोशिशें शुरू कर दी थीं। आलाकमान से राब्ता कायम कर पक्का कांग्रेसी कार्यकर्ता होने के सुबूत भी पेश किए, लेकिन महागठबंधन में कांग्रेस के शामिल न होने व पूर्व सांसद क्रिकेटर मुहम्मद अजहरूद्दीन के चुनाव लड़ने की सुगबुगाहट ने उनके मंसूबों पर पानी फेर दिया है।
ईदगाह में नमाज
पूर्व सांसद मुहम्मद अजहरूद्दीन ने ईद की नमाज मुरादाबाद ईदगाह में अदा की थी। यहीं से ही 2009 में पहली बार सांसद चुने गए थे। फिलवक्त उनके ईदगाह में नमाज पढ़ने को सियासी लुक दिया जा रहा है। कांग्रेसियों ने अजहर को प्रत्याशी भी घोषित कर दिया है। हालांकि, ऊंट किस करवट बैठेगा ये तो वक्त ही बताएगा, लेकिन आलाकमान तक दौड़ लगा रहे सियासतदानों के चेहरे मुरझा गए हैं।
सपाई खामोश
अजहर की सक्रियता और ईदगाह में नमाज अदा करने से सपाई भी खामोश हैं। उनका मानना है कि अजहर कांग्रेस का प्रत्याशी होने के नाते चुनाव कशमकश वाला हो जाएगा। सपाइयों को अपना उम्मीदवार जिताने के लिए कड़ी मेहनत करनी होगी। एक पदाधिकारी ने नाम न छापने की शर्त पर बताया कि आलाकमान से स्वच्छ छवि एवं लोकप्रिय उम्मीदवार उतारने की सिफारिश की जाएगी।
कांग्रेस का सर्वे
कांग्रेस ने मिशन 2019 के तहत मुरादाबाद लोकसभा क्षेत्र से जिताऊ उम्मीदवार मैदान में उतारना चाहती है। गोपनीय सर्वे भी कराया है। इसमें लोकप्रिय एवं आर्थिक स्थिति से मजबूत उम्मीदवार उतारने की सिफारिश की गई है। आलाकमान ने इस मुद्दे पर गम्भीरता से विचार शुरू कर दिया है। जिला अध्यक्ष डॉ. एपी सिंह के मुताबिक लोस उम्मीदवार के मामले में वरिष्ठ नेताओं से चर्चा हुई है। अंतिम निर्णय आलाकमान को ही लेना है।