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नव गठित तीन नगर पंचायतों में सपा का सफाया

मुरादाबाद : निकाय चुनाव में समाजवादी पार्टी अपनी साख बचाने में नाकाम रही। उसके शासन में गठित

By JagranEdited By: Published: Sun, 03 Dec 2017 02:12 AM (IST)Updated: Sun, 03 Dec 2017 02:12 AM (IST)
नव गठित तीन नगर पंचायतों में सपा का सफाया
नव गठित तीन नगर पंचायतों में सपा का सफाया

मुरादाबाद : निकाय चुनाव में समाजवादी पार्टी अपनी साख बचाने में नाकाम रही। उसके शासन में गठित तीन नगर पंचायतों में भी उसका सफाया हो गया। इन पंचायतों में सपा को न सिर्फ करारा झटका लगा बल्कि उसके उम्मीदवार तीसरे नंबर पर रहे। नवगठित नगर पंचायतों में कांग्रेस, बसपा और भाजपा के चेयरमैन चुने गए।

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सपा शासन के दौरान 2106 में ग्राम पंचायत पाकबड़ा, अगवानपुर व ढकिया को नगर पंचायत का दर्जा दिया गया था। इनमें प्रधानी व्यवस्था को समाप्त कर प्रशासक नियुक्त कर दिए गए थे। तब ये अनुमान लगाया जा रहा था कि निकाय चुनाव में नवगठित नगर पंचायतों में सपा को लाभ मिलेगा। यानी सभी में सपा के ही उम्मीदवार जीत हासिल करेंगे। इसी सबब इन पंचायतों में अध्यक्ष पद के टिकट को लेकर रस्साकशी हुई। लिहाजा सपा को उम्मीदवारों का चयन करने में भी दिक्कत हुई। हालांकि शुरुआती दौर में अवाम का रुख सपा की ओर ही था जो टिकट के गलत चयन और संगठन की कमजोरी से बिखर कर अन्य दलों में पक्ष में चला गया। चुनाव से पहले इन सभी नगर पंचायतों में सपा की स्थिति मजबूत मानी जा रही थी।

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अगवानपुर में मचा रहा सपाइयों में घमासान

नवगठित नगर पंचायत अगवानपुर में सपा का टिकट हासिल करने के लिए कई सपाइयों में घमासान हुआ। टिकट न मिलने पर सभी में प्रतिष्ठा की जंग शुरू हो गई। भाजपा, बसपा व कांग्रेस समेत 23 उम्मीदवार मैदान में उतरे। संगठन की कमजोरी से वोट बैंक बिखर कर सपा के खिलाफ चला गया। नतीजतन सपा उम्मीदवार को करारी शिकस्त का सामना करना पड़ा। यहां कांग्रेस ने कब्जा जमाया है।

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पाकबड़ा में थे 33 उम्मीदवार

पाकबड़ा जनपद की सबसे अधिक जनसंख्या एवं आय वाली ग्राम पंचायत में शुमार की जाती थी। नगर पंचायत गठित होने के बाद यहां का सियासी पारा गर्म हुआ तो दर्जनों उम्मीदवार अध्यक्ष बनने की होड़ में आगे आ गए। 33 उम्मीदवारों ने किस्मत आजमाई। टिकट बंटवारे में एक बड़े समाज की उपेक्षा से सपा का वोट बैंक खिसक कर कई हिस्सों में गया। यहां सपा का उम्मीदवार तीसरे स्थान हासिल किया। भाजपा ने कुर्सी पर कब्जा किया है।

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ढकिया में मुख्य मुकाबले से बाहर

नवगठित नगर पंचायत ढकिया में भी सपा का सफाया हो गया। यह सीट क्षेत्रीय सपा विधायक नवाबजान खां की प्रतिष्ठिा से जुड़ी थी। टिकट बंटवारे का ऐसा विरोध हुआ सपा तार-तार हो गई। विस चुनाव में सपा को ढकिया से दस हजार से अधिक वोट मिले थे जो निकाय चुनाव में दो हजार रह गए। संगठन की कमजोरी से सपा का उम्मीदवार मुख्य मुकाबले में भी नहीं आ सका।

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ठाकुरद्वारा विधायक ने बचाई प्रतिष्ठा

निकाय चुनाव में सपा विधायक नवाबजान खां ठाकुरद्वारा में उम्मीदवार जिता कर प्रतिष्ठा बचाने में सफल रहे। यहां भाजपा सांसद सर्वेश कुमार सिंह की प्रतिष्ठा भी दाव पर लगी थी। कुंदरकी में सपा विधायक हाजी मुहम्मद रिजवान प्रतिष्ठा बचाने में कामया रहे। जबकि कांठ विस क्षेत्र के पूर्व विधायक अनीसुर्रहमान सैफी नगर पंचायत ऊमरी कलां, कांठ, पाकबड़ा व अगवानपुर में अपनी साख नहीं बचा पाए।

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निकाय चुनाव में क्या हुआ इस बाबत कुछ नहीं कहना है। समीक्षा के बाद ही कुछ कहा जा सकता है।

हाजी इकराम कुरैशी, विधायक एवं जिला अध्यक्ष


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