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मुरादाबाद में बच्चों पर आफत : बच्ची से छेड़छाड़, बालक से कुकर्म

घर की चारदीवारी से बाहर मासूम सुरक्षित नहीं रह गए। मझोला में पांच साल की बच्ची से छेड़छाड़ और बालक से कुकर्म किया।

By JagranEdited By: Published: Thu, 04 Apr 2019 01:05 PM (IST)Updated: Sat, 06 Apr 2019 06:27 AM (IST)
मुरादाबाद में बच्चों पर आफत : बच्ची से छेड़छाड़, बालक से कुकर्म
मुरादाबाद में बच्चों पर आफत : बच्ची से छेड़छाड़, बालक से कुकर्म

मुरादाबाद । घर की चारदीवारी से बाहर मासूम सुरक्षित नहीं रह गए। मझोला में पांच साल की बच्ची को घर के बाहर खेलते हुए टॉफी देने का बहाना कर झांसे में लिया। इसके बाद आरोपित ने छेड़छाड़ की। शोर मचाने पर भीड़ ने आरोपित को पकड़कर पुलिस को सौंपा। दूसरी घटना भोजपुर के एक गांव में हुई है, यहां छह वर्षीय बालक को दुकान पर सामान दिलाने के बहाने गांव का युवक अपने साथ ले गया। स्वास्थ्य केंद्र के पीछे गेहूं के खेत में ले जाकर कुकर्म किया। भीड़ ने आरोपित को मौके से पकड़कर पेड़ में बांधकर पीटा और फिर पुलिस को सौंपा दिया।

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यह था पहला मामला

मझोला में रहने वाली पांच वर्षीय बच्ची का पिता जेल में बंद है। मां आसपास के घरों में चौका-बर्तन कर घर चलाती है। महिला की पांच साल की बच्ची बुधवार को घर के बाहर खेल रही थी। तभी पड़ोस में रहने वाला 40 वर्षीय अशफाक बच्ची को टॉफी दिलाने के बहाने अपने साथ ले गया। आरोपित ने बच्ची को एकांत में ले जाकर छेड़छाड़ शुरू कर दी। बच्ची आरोपित से डरकर रोने लगी। आवाज सुनकर आसपास के लोग मौके पर पहुंच गए। आरोपित अशफाक को मौके से ही भीड़ ने दबोच लिया। साथ ही कंट्रोल रूम को मामले की सूचना दी गई। मौके पर पहुंची पीआरवी आरोपित को भीड़ के कब्जे से छुड़ाकर थाने ले गई। इंस्पेक्टर विकास सक्सेना ने बताया कि पीड़ित बच्ची की मां की तहरीर पर मुकदमा दर्ज कर आरोपित को गिरफ्तार कर लिया है।

यह था दूसरा मामला

भोजपुर थाना क्षेत्र के गांव में बुधवार की दोपहर एक व्यक्ति का छह वर्षीय बेटा स्कूल से लौटने के बाद खाना खाकर घर के बाहर टहल रहा था। इसी दौरान पुराना बुध बाजार ईदगाह निवासी जाकिर ने बच्चे को दुकान से सामान दिलाने का लालच दिया। उसके बाद अपने साथ लेकर प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के पीछे गेहूं के खेत में ले गया। जाकिर ने बच्चे के साथ कुकर्म किया। बच्चे के चिल्लाने पर पास की दूध की डेयरी पर काम कर रहे लोग मौके पर दौड़े। बच्चे को खून से लथपथ देखकर भीड़ जमा हो गई। आरोपित जाकिर को भीड़ ने मौके पर ही दबोच लिया। मौका देखकर वह भाग निकला, लेकिन भीड़ ने उसका पीछाकर थोड़ी दूर पर जाकर उसे पकड़ लिय, इसके बाद उसे रस्सी से पेड़ में बांध दिया गया। भीड़ ने आरोपित की जमकर पिटाई की। इसी बीच सूचना पाकर पुलिस भी मौके पर पहुंच गई। पुलिस ने आरोपित को भीड़ के कब्जे से अपने कब्जे में लेकर थाने ले आई। साथ ही बच्चे को मेडिकल के लिए जिला अस्पताल भेज दिया। बच्चे के पिता की तहरीर पर कुकर्म का मुकदमा दर्ज कर आरोपित जाकिर को गिरफ्तार कर लिया है।

ऐसे बच्चों को सुरक्षित रखें।

अपने बच्चों को बताएं कि यदि कोई अजनबी उनसे कुछ ऐसा करें, जिसमें वो सही या सहज महसूस करें तो वे उसके नजदीक न जाएं और तत्काल घर पर बताएं। अपने बच्चे को यौन शोषण के बारे में भी बताएं ताकि बच्चा हर तरफ से सुरक्षित रहें। शरीर के प्राइवेट अंगों के बारे में भी जानकारी दें। बच्चों को समझाएं की अनजान व्यक्ति से चीजें नहीं लेनी है। बिना जान पहचान वाले के साथ कहीं न जाएं। स्कूल से भी अभिभावक के साथ ही लौटें। ऐसा माहौल भी तैयार करें कि बच्चा आपसे गोपनीय बता भी करें। कई यौन अपराधी बच्चे के साथ छेड़छाड़ कर गोपनीय रहने को कहते है। ताकि बच्चे पहली स्टेज पर उनके कृत्य को बता दें।

चार वर्ष की मासूम के साथ दुष्कर्म पर दस वर्ष की कैद

चार वर्ष की मासूम बच्ची के साथ दुष्कर्म की घटना को अंजाम देने वाले युवक को अदालत ने दस वर्ष की सजा सुनाई। अदालत ने दोषी पर बीस हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया।

कांठ थाना क्षेत्र के महमूदपुर गांव निवासी मनोज ने दरिदगी की हद पार करते हुए एक चार साल की मासूम को अपनी हवस का शिकार बनाया था। 15 जून 2016 को कांठ रेलवे स्टेशन के पास चार वर्षीय बालिका खेल रही थी। शाम को करीब चार बजे खिलाने के बहाने मनोज ने उसे अपने पास बुलाया और फिर गोद में उठाकर कुछ दूरी पर स्थित एक घर में ले गया। इस दौरान उसने वहां पर उसके साथ गलत हरकत की। सुनसान घर के अंदर से बच्ची की रोने की आवाज वहां से गुजर रहे कुछ लोगों ने सुनी तो वह लोग देखने पहुंच गए। तभी दोषी मनोज बच्ची को छोड़कर भाग निकला। परिजनों की तहरीर पर जीआरपी ने पॉक्सो एक्ट में मुकदमा दर्ज किया। स्थानीय लोगों ने उसे वहीं पकड़कर पुलिस के हवाले कर दिया। पीड़ित बच्ची के परिवार वालों की तहरीर पर कांठ थाने में मुकदमा दर्ज हुआ। पुलिस के द्वारा आरोप पत्र दाखिल करने के बाद इस मामले की सुनवाई शुरू हुई। बुधवार को एडीजे अष्टम एमपी सिंह ने दोनों पक्षों को सुनने के बाद दोषी मनोज को दस वर्ष के कारावास की सजा सुनाई। इसके साथ ही बीस हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया। अदालत ने यह भी आदेश दिया कि पीड़ित परिवार के सदस्यों को जुर्माने की धनराशि से 18 हजार रुपये प्रदान किए जाएंगे।


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