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सांसद आजम की बहन और बड़े बेटे पर भी कानूनी शिकंजा, एक साथ 28 मुकदमे, नोटिस जारी

पिछले साल 26 किसानों ने मुकदमे कराए कि सपा शासनकाल में उनकी जमीन जबरन यूनिवर्सिटी में मिला ली गई। प्रशासन ने भी मुकदमे कायम कराए। आजम खां को भूमाफिया घोषित कर दिया।

By Narendra KumarEdited By: Published: Mon, 31 Aug 2020 08:33 AM (IST)Updated: Mon, 31 Aug 2020 08:33 AM (IST)
सांसद आजम की बहन और बड़े बेटे पर भी कानूनी शिकंजा, एक साथ 28 मुकदमे, नोटिस जारी
सांसद आजम की बहन और बड़े बेटे पर भी कानूनी शिकंजा, एक साथ 28 मुकदमे, नोटिस जारी

रामपुर (मुस्लेमीन)। पुलिस ने अब सांसद आजम खां की बहन निकहत अफलाक और बड़े बेटे अदीब आजम पर भी कानूनी शिकंजा कस दिया है। इन दोनों को जौहर यूनिवर्सिटी की जमीनों से जुड़े 28 मुकदमों में अभियुक्त बना दिया है। जौहर यूनिवर्सिटी के लिए जमीनें कब्जाने के मामले में सांसद आजम खां के खिलाफ 30 मुकदमे दर्ज हैं। इन मामलों में उनकी पत्नी और छोटे बेटे अब्दुल्ला आजम को भी अभियुक्त बनाया जा चुका है। इस समय तीनों जेल में बंद हैं। पुलिस ने अब आजम खां की बहन और बड़े बेटे को अभियुक्त बनाते हुए नोटिस जारी कर दिया है

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जौहर यूनिवर्सिटी सांसद आजम खां का ड्रीम प्रोजेक्ट है। 18 सितंबर 2006 को जब इसका शिलान्यास हुआ था तब सूबे में सपा सरकार थी और तत्कालीन मुख्यमंत्री मुलायम सिंह यादव 52 मंत्रियों के साथ रामपुर आए थे। 2012 में जब इसका उद्घाटन हुआ तब तत्कालीन मुख्यमंत्री अखिलेश यादव पूरी सरकार के साथ आए थे। इस यूनिवर्सिटी की जमीनों को लेकर शुरू से ही विवाद रहा है। यूनिवर्सिटी को मौलाना मुहम्मद अली जौहर ट्रस्ट संचालित करती है। ट्रस्ट के नाम ही सारी जमीनें हैं। आजम खां इस ट्रस्ट के अध्यक्ष हैं और उनकी पत्नी डा. तजीन फात्मा सचिव हैं, जबकि दोनों बेटे अदीब और अब्दुल्ला आजम सदस्य हैं। निकहत अफलाक कोषाध्यक्ष हैं।

एसआइटी का किया गया था गठन 

जमीन से जुड़े मुकदमों की जांच के लिए एसआइटी का गठन किया गया था। जांच पड़ताल में पाया गया कि जमीनें ट्रस्ट के नाम हैं, इसलिए ट्रस्ट के सभी पदाधिकारी और सदस्य इसके लिए जिम्मेदार हैं। सीतापुर जेल में बंद आजम खां की पत्नी और छोटे बेटे अब्दुल्ला के खिलाफ पहले ही इन मुकदमों में चार्जशीट लग चुकी है। पुलिस अधीक्षक शगुन गौतम ने बताया कि ट्रस्ट के सभी सदस्य जांच पड़ताल में दोषी पाए गए है। इन पर जो आरोप हैं, उनमें सात साल से कम सजा है, इसलिए इन्हे गिरफ्तार नहीं किया जा सकता है। इन्हे नोटिस जारी कर दिए गए हैं। जब भी जरूरत पड़ेगी, इन्हे न्यायालय या विवेचवाधिकारी के समक्ष पेश होना होगा। शीघ्र ही इनके खिलाफ चार्जशीट लगाई जाएगी।

ये हैं जौहर ट्रस्ट के सदस्य

सांसद आजम खां अध्यक्ष, डा. तजीन फात्मा सचिव, निकहत अफलाक कोषाध्यक्ष और चमरौआ विधायक नसीर खां, जिला सहकारी बैंक के पूर्व अध्यक्ष सलीम कासिम एवं आजम के बेटे अदीब व अब्दुल्ला सदस्य हैं, जबकि लखनऊ निवासी मुश्ताक अहमद सिद्दीकी उपाध्यक्ष है। राज्यसभा सदस्य रहे मुनव्वर सलीम भी सदस्य थे, लेकिन उनका इंतेकाल हो चुका है।


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