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मुरादाबाद में एक ही लाभार्थी के नाम पर दो बार निकाल ली शौचालय की धनराशि

Rigging allocation of toilets जिला पंचायत राज अधिकारी राजेश कुमार सिंह ने बताया कि मामले की फिर से जांच कराई जा रही है। जांच रिपोर्ट आने पर इस मामले में आगे की कार्रवाई होगी। शिकायत के बावजूद कार्रवाई न होने पर गांव में चर्चाओं का बाजार गर्म हो गया है।

By Narendra KumarEdited By: Published: Mon, 23 Nov 2020 07:34 AM (IST)Updated: Mon, 23 Nov 2020 07:34 AM (IST)
मुरादाबाद में एक ही लाभार्थी के नाम पर दो बार निकाल ली शौचालय की धनराशि
20 अगस्त 2020 को चार सदस्यीय जांच टीम का गठन किया गया था।

मुरादाबाद, जेएनएन। Rigging allocation of toilets। ग्राम पंचायत मल्हीपुर महमूदा नंगला में एक ही लाभार्थी के नाम पर लगातार दो वित्तीय वर्षों में शौचालय निर्माण की धनराशि निकाल ली गई। इसकी शिकायत जिलाधिकारी से की गई है लेकिन, अभी तक कोई कार्रवाई नहीं हुई है।

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ग्राम पंचायत मल्हीपुर महमूदा नंगला निवासी रिजवान, यूनुस व मुहम्मद आकिल ने ग्राम प्रधान के विरुद्ध सरकारी धन के दुरुपयोग व स्वच्छ भारत मिशन ग्रामीण के अंतर्गत निर्मित शौचालय निर्माण में घपले की शिकायत जिलाधिकारी से एक साल पहले की थी। शिकायतकर्ता रिजवान ने बताया कि लगातार पत्राचार के बावजूद मौके पर विकास कार्यों की कोई जांच नहीं की गई है। केवल एक बार प्रधानमंत्री आवास योजना में गड़बड़ी की जांच मौके पर आकर जिला प्रोबेशन अधिकारी और जिला उद्यान अधिकारी के द्वारा की गई थी। इसमें ग्राम प्रधान और तत्कालीन पंचायत सचिव को दोषी माना गया था। लेकिन, इस जांच रिपोर्ट के आधार पर भी दोषियों के विरुद्ध कोई कार्रवाई नहीं की गई। शिकायतकर्ताओं को जानकारी हुई है कि कुछ दिन पहले डीपीआरओ ने विकास कार्यो की जांच के संबंध में सीडीओ को अपनी जांच आख्या भेजी है। इसमें उल्लेख किया गया है कि मौके पर जाकर जांच की गई तो शिकायतकर्ता बुलाने पर नहीं आए। जबकि शिकायतकर्ताओं का कहना है कि हम लोगों को इसकी कोई सूचना नहीं दी गई।

सिर्फ ग्राम प्रधान व पंचायत विभाग के कर्मचारियों को बुलाकर जांच रिपोर्ट तैयार कर दी गई। इतना ही नहीं स्वच्छ भारत मिशन ग्रामीण के तहत निर्मित शौचालय में हुए घोटाले का इस जांच में कोई जिक्र नहीं किया गया जबकि शिकायत में पांच ऐसे लोगों के नाम के उल्लेख हैं , जिनके नाम पर दो वित्तीय वर्षो में शौचालयों के नाम पर भुगतान किया गया है। इसके अलावा शौचालय घोटाले में उपनिदेशक पंचायत मुरादाबाद मंडल द्वारा 20 अगस्त 2020 को चार सदस्यीय जांच टीम का गठन किया गया था, लेकिन अभी तक इस जांच टीम ने मौके पर जाकर कोई भी जांच नहीं की है।


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