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खुला आश्रय बाल गृह में आधा दर्जन बच्चे बीमार मिले

उप्र बाल अधिकार संरक्षण आयोग के अध्यक्ष डॉ. विशेष गुप्ता को हरथला स्थित आश्रय गृह में बच्चे बीमार मिले हैं।

By JagranEdited By: Published: Fri, 21 Sep 2018 02:02 PM (IST)Updated: Fri, 21 Sep 2018 02:02 PM (IST)
खुला आश्रय बाल गृह में आधा दर्जन बच्चे बीमार मिले
खुला आश्रय बाल गृह में आधा दर्जन बच्चे बीमार मिले

मुरादाबाद : उत्तर प्रदेश बाल अधिकार संरक्षण आयोग के अध्यक्ष डॉ. विशेष गुप्ता ने हरथला स्थित खुला आश्रय गृह व मंडी समिति के समीप राजकीय स्वच्छकार आश्रम पद्धति विद्यालय का औचक निरीक्षण किया। करीब 11 बजे हरथला स्थित खुला आश्रय बाल गृह पहुंचे डॉ. गुप्ता ने बताया कि यहां महज 25 बच्चों के रहने की व्यवस्था है। इसके सापेक्ष बाल गृह में सत्तर बच्चे हैं। इनमें से दस बच्चे ऐसे हैं, जिन्हें भविष्य के दृष्टिगत उनके गृह जनपद भेजा जाना जरूरी है। इस बावत बाल कल्याण समिति मुरादाबाद को उन्होंने जरूरी दिशा निर्देश दिए। छानबीन में पता चला कि बाल गृह में एक अकेली चौदह वर्षीय किशोरी भी निवास कर रही है। पूछताछ में पता चला कि विकल्प के अभाव में बच्ची खुला आश्रय गृह में रखी गई है। खुला आश्रय गृह के संचालकों को डॉ. गुप्ता ने उन सामानों को बाजार में उतारने व बेचने के लिए प्रेरित किया, जिनका निर्माण बाल आश्रय गृह के बच्चों ने किया है। इसमें डलिया आदि शामिल हैं। इस दौरान पता चला कि आश्रय गृह में रहने वाले आधा दर्जन बच्चे बीमार हैं। आयोग के अध्यक्ष ने तत्काल सीएमओ से मोबाइल पर संपर्क साधा और तत्काल उपचार की व्यवस्था सुनिश्चित करने को कहा।

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जिम्मेदार अधिकारियों से किया जवाब-तलब

-इसके बाद डॉ. गुप्ता समाज कल्याण विभाग द्वारा संचालित मंडी समिति के पीछे राजकीय स्वच्छकार आश्रम पद्धति विद्यालय में पहुंचे। परिसर में सामान्य व दिव्यांग छात्रों के लिए अलग विद्यालय होने के बावजूद सभी को एक साथ पढ़ाया जा रहा है। वहां शिक्षकों की भरी कमी मिली। शिक्षा की गुणवत्ता ठीक नहीं मिली। इसका संज्ञान लेते डॉ. गुप्ता ने संबंधित विभागों से जवाब तलब किया।

बच्चों ने खोली व्यवस्था की पोल

-बाल कल्याण आयोग के अध्यक्ष डॉ. विशेष गुप्ता के मुताबिक बच्चों ने बताया कि खाद्य सामाग्री नहीं मिलती। टायलेट गंदा पड़ा है। जो सामान विद्यालय में उपलब्ध है मसलन कापी, तकिया, जुराब, साबुन आदि वह भी समय से बच्चों को नहीं दिया जाता।


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